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भारत में भीड़ तंत्र द्वारा की जा रही हिंसा का कोई स्थान नहीं

locationभोपालPublished: Sep 11, 2018 01:28:30 pm

ज्वलंत संवैधानिक मुद्दे एवं विधिक सहायता के विषय पर एक कार्यशाला में बोले सचिव विजय चंद्रा

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भोपाल. मप्र राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण जबलपुर द्वारा भोपाल स्कूल ऑफ सोशल साइंसेज में ज्वलंत संवैधानिक मुद्दे एवं विधिक सहायता के विषय पर एक कार्यशाला आयोजित की गई। इस अवसर पर राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के सदस्य सचिव विजय चंद्रा ने सर्वोच्च न्यायालय के न्याय दृष्टांत तहसीन पूनावाला बनाम भारत संघ में हुए निर्णय पर बात करते हुए कहा कि भारत में कानून का राज है एवं भीड़ तंत्र द्वारा की जा रही हिंसा का कोई स्थान नहीं है। इस अवसर पर इनोश कारलो,आशुतोष मिश्र, अरविंद श्रीवास्तव, बीएम सिंह व कॉलेज के वरिष्ठ प्राध्यापक उपस्थित रहे।

 

समय समय पर करते है महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा
राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जबलपुर द्वारा समय समय पर महत्हपूर्ण विषयों पर चर्चा की जाती हैं। विभाग के अधिकारियों का कहना है कि वृद्धजन समाज की पूंजी है, जो अपने जीवन के दीर्घ अनुभव से हममें संस्कारों को रोपित और समृद्ध करते है. दुर्भाग्यवश भारतीय समाज के परिवर्तनशील दौर में इन वृद्धजनों की परिवार में उपयोगिता समाप्त हो गई है और ये हाशिये पर आकर वृद्धाश्रम जैसी संस्थाओं में अपना जीवन गुजार रहे है.

वृद्धजनों को दिखाई फिल्म

विगत दिनों एक निजी सोसायटी द्वारा वृद्धाश्रम में आयोजित शिविर के दौरान वृद्धजनों से चर्चा की गई। चर्चा के बाद वृद्धजनों द्वारा मनोरंजन के लिये पिकनिक तथा फिल्म देखने की इच्छा जाहिर की गयी. अपने परिवार से उपेक्षित और अकेलेपन के शिकार इन वृद्धजनों की इच्छा का सम्मान करने हुये राज्य प्राधिकरण द्वारा जबलपुर में स्थित सिनेप्लेक्स में इन वृद्धजनों को हॉकी की सत्य घटना पर आधारित ‘गोल्ड फिल्म दिखाने का निश्चय किया गया.

शिविर लगाकर करते है निराकरण
राज्य एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा समय-समय पर ऐसे शिविरों एवं जेल लोक अदालतों का आयोजन किया जाता रहा है. वर्ष 2018 में अब तक 231 मामलों में नि:शुल्क विधिक सहायता, 43 मामलों में उच्च न्यायालय में अपील एवं 19 मामलों में सर्वोच्च न्यायालय को अपील प्रेषित की गयी है.

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