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Big Breaking : रेप कांड में भोपाल IG समेत जीआरपी SP हटाए गए

locationभोपालPublished: Nov 05, 2017 03:51:29 pm

कई घंटों तक पीड़ितों को थाना क्षेत्र के नाम पर इधर से उधर टहलाती रही थी पुलिस, सरकार ने मानी गंभीर लापरवाही।

govt. action
भोपाल। पिछले दिनों भोपाल मे हुए गैंगरेप में असंवेदनशील रवैया अपनाने के चलते सरकार ने कार्रवाई शुरू कर दी है।छात्रा से गैंगरेप मामले में अब बड़े अफसरों पर गाज गिरी है। ऐसे गंभीर मामले में भी हंसते हुए आई GRP एसपी की वीडियो क्लिप के बाद रविवार को रेलवे एसपी अनिता मालवीय को हटाकर पीएचक्यू अटैच किया गया।
इनके स्थान पर रुचि वर्धन मिश्रा रेलवे की नई एसपी बनाई गईं हैं। वहीं इसके बाद भोपाल रेंज के आईजी योगेश चौधरी को भी हटा दिया गया है, वहीं आईपीएस अफसर जयदीप प्रसाद को योगेश चौधरी की जगह भोपाल रेंज का नया आईजी बनाया गया है। इसी बीच 10 अन्य IPS के भी तवादले किए गए हैं।
police officers
यह है मामला…
दरअसल मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में कोचिंग से 31 अक्टूबर को घर विदिशा लौट रही छात्रा के साथ चार आरोपियों ने रेल की पटरी के पास गैंगरेप किया। करीब 24 घंटों तक पुलिस पीडित के परिजनों को थाने क्षेत्र को लेकर एक थाने से दूसरे थाने में जाने को कहती रही। इसके बाद मीडिया के इस मामले को सामने लाने पर केस दर्ज किया गया साथ ही पीड़िता के परिजन ही एक आरोपी को भी पकड़ लाए। ज्ञात हो कि भोपाल में गुरुवार को दरिंदों ने इंसानियत को शर्मसार करते हुए एक छात्रा के साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया था। इस मामले के प्रकाश में आने के बाद इलाके में हड़कंप मच गया।
पीड़िता का आरोप है कि कोचिंग क्लास से वापस घर लौटते वक्त उसके साथ 4 लोगों ने सामूहिक दुष्कर्म किया। इस मामले में भोपाल की एसपी जीआरपी, अनीता मालवीय ने बताया था कि आरोपियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 376 डी, 394, 34 के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। जबकि इसके बाद एसपी जीआरपी एक वीडियो क्लिप में इस मामले को लेकर हंसती दिखी।
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वहीं पिछले दिनों लगातार जनता व राजनैतिक दलों के दबाव के चलते केस दर्ज में देरी व लापरवाही को लेकर 3 टीआई सस्पेंड किए गए जबकि 1 सीएसपी को हटाया दिया था।

इस बैठक के बाद मुख्यमंत्री के निर्देश पर मामले की जांच में लापरवाही बरतने पर तीन थाना प्रभारियों को सस्पेंड कर दिया गया। वही एक सीएसपी को भी मुख्यालय अटैच करने के आदेश जारी हुए है।
-सीएसपी एमपी नगर कुलवंत सिंह को पुलिस मुख्यालय अटैच किया गया।
-एमपी नगर थाना TI संजय सिंह बैस सस्पेंड।
-हबीबगंज थाना TI रविन्द्र यादव सस्पेंड।
-हबीबगंज GRP थाना TI मोहित सक्सेना सस्पेंड।
-एमपी नगर थाने के सब इंस्पेक्टर टेकराम को एक दिन पहले किया था सस्पेंड।
-हबीबगंज GRP थाने के सब इंस्पेक्टर उइके सस्पेंड।
कोई वकील नहीं करेगा आरोपियों की पैरवी:
वहीं भोपाल बार एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेश व्यास ने भी मामले को देखते हुए कहा था मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल के हबीबगंज में छात्रा से गैंगरेप के मामले में शहर के वकील आरोपियों की पैरवी नहीं करेंगे। शहर के सभी वकीलों ने इस बात का फैसला लिया है कि कोई भी आरोपियों का केस नहीं लड़ेगा।
थानों के चक्कर काटते रहे परिजन:
आरोप है कि जब बेटी से हुई घटना की रिपोर्ट दर्ज कराने के लिए परिजन भोपाल पुलिस के पास पहुंचे, तो उन्हें दूसरे थाने का मामला बताकर चलता कर दिया गया। बुधवार को फैमिली घंटों तक एमपी नगर और हबीबगंज थाने के चक्कर काटती रही। करीब 24 घंटे बाद पुलिस ने मामला दर्ज किया। इसके बाद बताया गया कि मामला जीआरपी थाने का है। फिर जीआरपी ने मेडिकल जांच कराने के बाद केस दर्ज किया। इसमें रेप की बात कन्फर्म हुई है।
वहीं लड़की के बयान के आधार पर जीआरपी ने गुरुवार को 4 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। आरोपियों की पहचान गोलू बिहारी, राजेश, रमेश और अमर के तौर पर हुई है। आरोपियों की रिमांड मिलने के बाद पुलिस आगे जांच कर रही है।
पुलिस कर्मियों के खिलाफ अपराधिक प्रकरण दर्ज हो :

इधर, नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह ने कहा है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से छात्रा के साथ ही उस निर्दोष युवक के प्रति संवेदनशीलता दिखाएं जिसे पुलिस ने गिरफ्तार कर बेरहमी से पीटा अब वह युवक आर्थिक अभाव में अपना इलाज भी नहीं करवा पा रहा है। उन्होंने युवक को मुआवजे के रूप में 5 लाख की राशि देने की मांग की है, साथ ही जबरन जुर्म कबूल करवाने और थर्ड डिग्री इस्तेमाल करने वाले पुलिस कर्मियों के खिलाफ अपराधिक प्रकरण दर्ज किया जाना चाहिए।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि छात्रा के साथ सामुहिक ज्यादती के साथ ही निर्दोष युवक को गिरफ्तार करना भी बहुत ही गंभीर है। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि किसी पर पुलिस कार्यवाही सामाजिक प्रतिष्ठा पर प्रतिकूल प्रभाव डालती है। पुलिस ने युवक की सामाजिक प्रतिष्ठा धूमिल की है साथ ही उस पर जबरदस्ती जुर्म कबूल करने के लिए थर्ड डिग्री का इस्तेमाल किया, वह अपराध है और इसके लिए संबंधित पुलिस कर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज होना चाहिए।
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