गुरुवार सुबह मध्यप्रदेश कांग्रेस के आधिकारिक ट्विटर से एक ट्वीट किया गया है। इस ट्वीट में लिखा है- मोदीजी की लापरवाही है जिम्मेदार। दुनिया कोरोना से जूझ रही थी, मोदी जय-जय ट्रंप मे लगे थे। वुहान की भयावहता से नहीं जागे। विदेशों से लोग आते-जाते रहे। एयरपोर्ट पर सघन जांच नहीं की। मास्क/सैनिटाइजर का निर्यात किया और सरकार गिराने में व्यस्त रहे।
कांग्रेस ने कहा- यदि मोदी जी द्वारा सरकार गिराओ अभियान कुछ दिन के लिये रोककर 16 मार्च या उससे पहले ही लॉकडाउन घोषित कर दिया जाता तो आज देश के हालात बेहतर होते। वहीं, शिवराज सिंह चौहान का नाम लिए बिना कांग्रेस ने कहा- पिछले तीन दिनों से मौत का डर, फसलों को नुक़सान, किसान परेशान, गंभीर बीमारी और नई-नई आपदा सुनाई दे रही हैं। लगता है वो वापस आ गया।
बता दें कि कांग्रेस के 22 विधायकों के बगावत करने और ज्योतिरादित्य सिंधिया के भाजपा में शामिल होने के बाद मध्यप्रदेश की कांग्रेस सरकार गिर गई थी। फ्लोर टेस्ट से पहले ही 20 मार्च को कमलनाथ ने राज्यपाल लालजी टंडन को इस्तीफा सौंप दिया था। जिसके बाद मध्यप्रदेश में भाजपा की सरकार बनी। शिवराज सिंह चौहान ने चौथी बार मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली।
मध्यप्रदेश में कोरोना वायरस के संक्रमण का पहला मामला जबलपुर में आया था। जबलपुर के बाद राजधानी भोपाल में, ग्वालियर में, शिवपुरी जिले, इंदौर और महाकाल की नगरी उज्जैन में मामला सामने आया है। इस तरह प्रदेश के 6 जिलों में अब तक संक्रमण पहुंच चुका है। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि संक्रमण के इस चेन को रोकने के लिए लॉक डाउन के निर्देशों का पालन करें। वहीं, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और प्रशासन पूरी तरह से अलर्ट है।