गोल्डन ट्रायएंगल में शामिल होगा ओरछा
मोहंती ने बताया कि ओरछा पहले ही यूनेस्को वल्र्ड हेरिटेज साइट्स की सूची में है। भारत आने वाले पर्यटकों के लिए टूर ऑपरेटर्स द्वारा अभी तक गोल्डन ट्रायएंगल (दिल्ली-जयपुर-आगरा) पैकेज ऑफर किया जाता है। इस गोल्डन ट्रायएंगल में ओरछा को जोड़ कर इसे गोल्डन क्वाड्रीलैटरल (चतुर्भुज) में तब्दील किया जा रहा है।
विदेशी पर्यटकों की पसंद में ओरछा का दूसरा स्थान लेकिन भारतीयों की पसंद में सातवां
मप्र पर्यटन विभाग से प्राप्त आंकड़ों के मुताबिक प्रदेश में खजुराहो से ज्यादा विदेशी पर्यटक ओरछा आते हैं। वर्ष 2018 में ओरछा में करीब 50 हजार जबकि खजुराहो में 43 हजार विदेशी पर्यटक पहुंचे थे। मप्र में विदेशी पर्यटकों के पसंदीदा पर्यटन स्थलों में इंदौर के बाद दूसरे स्थान पर ओरछा है। वहीं मप्र में भारतीय पर्यटकों के पसंदीदा पर्यटन स्थलों में ओरछा सातवें स्थान पर है। यहां वर्ष 2018 में करीब 32 लाख पर्यटक पहुंचे।
यहां भगवान और राजा दोनों रूप में होती है ‘राम’ की पूजा
पर्यटन सचिव ने बताया कि ओरछा किले के परिसर में विख्यात और अनोखा राम राजा मंदिर स्थित है जिसका निर्माण भगवान राम के सम्मान में किया गया और यह एक मात्र स्थान है जहां राम की पूजा भगवान और राजा दोनों के रूप में की जाती है। यहां पर एक भव्य चतुर्भुज मंदिर भी है जो एक स्थापत्य विरासत के रूप में मंदिर, किला और महल तीनों का संगम है। शाही महल राजा महल और शीष महल हैं जो अब हेरिटेज होटल में तब्दील हो चुके हैं। जहांगीर महल है जिसका निर्माण महाराजा बीर सिंह देव ने मुगल सम्राट जहांगीर के आगमन के सम्मान में बनवाया था। साथ ही यहां फूल बाग भी है जो स्थापत्य कला का बेहतरीन नमूना है जिसमें वाटर वेंटिलेशन सिस्टम के जरिए प्राकृतिक ठंडक रहती है। इसके अलावा किले और बेतवा नदी के आसपास बड़ी संख्या में छतरियां हैं जो शहर के पूर्व शासकों की याद में बनवाई गई थीं।