प्रशासन ने शहर की नगर सेवा व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए बीआरटीएस मार्ग विकसित करने के साथ लो फ्लोर बसों से पूरे शहर को कवर करने का प्रयास दस साल पहले किया था। इसमें एसी बसों की खरीदी से लेकर उनकी पुरानी खरीदी को लेकर मामला जांच में चल ही रहा है। सड़क पर खराब हो रही कंडम बसों को प्रशासन ने डिपो में भेजना शुरू कर दी हैं। उनके बदले मिडी बसों को उतारा जा रहा है। करीब 40 मिडी बसें, आनी थी लेकिन केवल 20 बसें ही आ पाईं। उनमें भी 10 बसें ही नए साल में सड़कों पर उतारी जाएंगी। इसमें एसआर-2 पर पांच और एसआर-5 की पांच मिडी बसें ही नए साल में सड़क पर उतरेंगी।
बीसीएलएल के पास कुल-287 बसे हंै। जिसमें करीब 205 बसें सड़कों पर चल रही हैं। 82 बसें ज्यादा कंडम होने के कारण हटा ली गई। जिसमें से हाल ही में आठ बसों को डिसमेंटल कर दिया गया है। इतना ही नहीं जो लो प्लोर बसें सड़कों पर चल रही हैं, उनकी भी फिटनेस का आलम यह है कि मेंटेनेंस के अभाव में कहीं भी खराब हो रही हैं। सोमवार दोपहर ही आशिमा मॉल के सामने बीआरटीएस सड़क पर लो फ्लोर खराब हो गई तो, सवारियों को वहीं उतारना पड़ा।
कुछ दिन पहले ही आरआरएल एम्प्री के सामने लो प्लोर के इंजन में धुंआ निकलने से यात्रियों में भगदड़ मच गई थी। बताया गया कि रोजाना इन बसों से एक लाख से अधिक लोग सवारी करते हैं।
कुछ दिन पहले ही आरआरएल एम्प्री के सामने लो प्लोर के इंजन में धुंआ निकलने से यात्रियों में भगदड़ मच गई थी। बताया गया कि रोजाना इन बसों से एक लाख से अधिक लोग सवारी करते हैं।
इनका कहना – आठ लो फ्लोर कंडम हो चुकी बसों को डिसमेंटल कर दिया गया है। बीस नई मिडी बसें आ रही हैं। जिसमें से दस बसें तो जनवरी से शुरू भी कर दी जाएंगी। जैसे-जैसे डिमांड जिस मार्ग की मिलेगी, वहां मिडी बसें उतारी जाएगी। छोटे व व्यस्त क्षेत्रों में मिटी बसें की इसके पहले एक बड़ी खेप एक साल पहले ही उतारी जा चुकी है।
– संजय सोनी प्रवक्ता, बीसीएलएल