आवेदक की ओर से एडवोकेट संभव सोगानी ने सुनवाई के दौरान बताया कि केन्द्रीय वन एवं पर्यावरण मंत्रालय की ओर से सौंपी गई रिपोर्ट सही है। आवेदक भी उससे सहमत है। उन्होंने एनजीटी से मांग की कि केरवा से कलियासोत डैम के बीच वन क्षेत्र में जो निर्माण किए जा रहे हैं उन्हें तत्काल रोका जाए। यहां किसी भी प्रकार के निर्माण की अनुमति नहीं मिले। टाउन एंड कंट्री प्लानिंग भी इस क्षेत्र में ऐसा लैंडयूज तय करे कि वन क्षेत्र को नुकसान पहुंचाने वाला किसी भी प्रकार का निर्माण कार्य यहां नहीं हो सके। इसके लिए किसी प्रकार की अनुमति नहीं मिल सके।
एनजीटी से स्लॉटर हाउस शिफ्टिंग के मामले में नगर निगम ने यह कहते हुए कुछ समय और ले लिया कि निगम परिषद की बैठक चल रही है। उसमें यह प्रस्ताव पास हो जाएगा। जबकि हकीकत में मंगलवार को हुई परिषद की बैठक हंगामे के बीच ही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी गई। परिषद के समक्ष स्लॉटर हाउस का प्रस्ताव ही पेश नहीं हो पाया। एनजीटी सेंट्रल जोनल बेंच में मंगलवार को विनोद कुमार कोरी की याचिका पर वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से सुनवाई हुई। इस दौरान नगर निगम की ओर से पेश जवाब में बताया गया कि स्लॉटर हाउस को शिफ्ट करने के लिए आदमपुर छावनी में ही दूसरी जमीन दी जा रही है। जमीन का संबंधित कंपनी के साथ चयन का काम चल रहा है। एनजीटी ने निगम से मंजूरी की बात पूछी तो बताया गया कि अभी निगम परिषद की बैठक चल रही है। उसमें प्रस्ताव को मंजूरी मिल जाएगी। पूरा जवाब पेश करने के लिए कुछ समय और चाहिए। जबकि निगम परिषद में स्लॉटर हाउस का न तो प्रस्ताव पेश हो पाया और न उस पर कोई चर्चा हो पाई। एनजीटी ने मामले की अगली सुनवाई 22 जनवरी को तय की है। तब तक जवाब देने के निर्देश दिए गए हैं।