scriptप्रदेश की 1 लाख 20 हजार से अधिक शासकीय शालाओं में पालक-शिक्षक बैठक 19 अक्टूबर को | Parent-teacher meeting in more 1 lakh 20 thousand government school | Patrika News

प्रदेश की 1 लाख 20 हजार से अधिक शासकीय शालाओं में पालक-शिक्षक बैठक 19 अक्टूबर को

locationभोपालPublished: Oct 17, 2019 08:48:02 am

90 लाख से अधिक बच्चों की शालेय जानकारियां पालकों से साझा करेंगे

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भोपाल : प्रदेश के शासकीय विद्यालयों में अभिभावकों की भागीदारी सुनिश्चित करने की दृष्टि से 19 अक्टूबर को लगभग 1 लाख 20 हजार शालाओं में पालक-शिक्षक बैठक (पीटीएम) होंगी । इनमें सहभागिता के लिये 90 लाख से अधिक विद्यार्थियों के अभिभावकों को आमंत्रित किया जा रहा है।

इसका उद्देश्य अभिभावकों को उनके बच्चों के शैक्षणिक स्तर की जानकारी प्रदान करना, शाला के अकादमिक मुद्दों की जानकारी देना, सुझाव प्राप्त करना तथा विद्यार्थियों को प्रेरित कर उनके शैक्षिक स्तर में सुधार के लिये अभिभावकों को जागरुक करना है।

इस संबंध में स्कूल शिक्षा विभाग की प्रमुख सचिव रश्मि अरुण शमी ने सभी कलेक्टर्स एवं मैदानी अधिकारियों को निर्देश जारी किये हैं। पालकगण अपनी सुविधानुसार शाला समय के दौरान किसी भी समय, शाला में आकर अपने बच्चे की शैक्षणिक एवं सहशैक्षणिक गतिविधियों की जानकारी शिक्षकों से प्राप्त कर सकेंगे।

बैठक में क्लास टीचर पालकों से उनके बच्चों के संबंध में व्यक्तिगत चर्चा करेंगे। मुख्यत: विद्यार्थी की त्रैमासिक परीक्षा/दक्षता उन्नयन की कॉपियाँ अभिभावकों को दिखाई जायेंगी। साथ ही माता-पिता को यह जानकारी दी जाएगी कि विद्यार्थी को किन विषयों में अभ्यास की अधिक आवश्यकता है।

शाला में विद्यार्थी की उपस्थिति की जानकारी दी जाएगी। अनियमित विद्यार्थियों के पालकों को बच्चों की नियमित उपस्थिति के लिये प्रेरित किया जायेगा। पालकों से उनके बच्चों की शैक्षणिक एवं सह-शैक्षणिक गतिविधियों में रुचि, कक्षा में प्रश्न पूछने एवं उत्तर देने की तत्परता आदि के संबध में भी शिक्षक चर्चा करेंगे।

शाला में संचालित होने वाली निदानात्मक (रेमेडियल) कक्षाओं की जानकारी भी पालकों को दी जायेगी। शिक्षक पालकों से बच्चों की व्यक्तिगत आदतों, व्यवहार, कक्षा में अध्ययन आदि बिंदुओं पर भी चर्चा करेंगे।

पालकों का उस विषय के विषय शिक्षक से परामर्श भी कराया जायेगा, जिस विषय में उनके बच्चे की उपलब्धियां स्तरानुकूल नही हैं। कक्षा-शिक्षक द्वारा बैठक का रिकॉर्ड संधारित किया जायेगा। शाला के प्राचार्य/प्रधानाघ्यापक/संस्था प्रमुख भी इस अवसर पर पालकों से चर्चा के लिये उपलब्घ रहेंगे। अभिभावकों को सामुदायिक सहभागिता से विद्यालय की मॉनिटरिंग के लिये प्रेरित किया जायेगा ताकि शिक्षण व्यवस्था में अभिभावक सहभागी बनें।

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