रेकॉर्ड से पता लगाएंगे प्रबंधन की गंभीरता
नीति आयोग के अनुसार इस रिपोर्ट में निजी स्कूलों में पहली कक्षा में दाखिला लेने के बाद बच्चों के साथ किया जाने वाला बर्ताव, उनके रेकॉर्ड, बच्चों को आगे की कक्षाओं में सतत प्रवेश दिया गया है अथवा निकाल दिया गया है जैसे बिंदु शामिल रहेंगे। इसमें प्री-स्कूल या पहली कक्षा जिसमें आरटीइ के तहत प्रवेश दिया गया है, उससे संबंधित रेकॉर्ड (जैसे प्रवेश के समय दिए गए पेपर, आय-जाति, निवासी, वंचित समूह संबंधि पेपर) पर सबसे अधिक फोकस किया जाएगा, ताकि स्कूल प्रबंधन की इस अधिनियम के प्रति गंभीरता का पता लगाया जा सके।
नीति आयोग के अनुसार इस रिपोर्ट में निजी स्कूलों में पहली कक्षा में दाखिला लेने के बाद बच्चों के साथ किया जाने वाला बर्ताव, उनके रेकॉर्ड, बच्चों को आगे की कक्षाओं में सतत प्रवेश दिया गया है अथवा निकाल दिया गया है जैसे बिंदु शामिल रहेंगे। इसमें प्री-स्कूल या पहली कक्षा जिसमें आरटीइ के तहत प्रवेश दिया गया है, उससे संबंधित रेकॉर्ड (जैसे प्रवेश के समय दिए गए पेपर, आय-जाति, निवासी, वंचित समूह संबंधि पेपर) पर सबसे अधिक फोकस किया जाएगा, ताकि स्कूल प्रबंधन की इस अधिनियम के प्रति गंभीरता का पता लगाया जा सके।
निजी फर्म करेगी अध्ययन
नीति आयोग ने इस शोध रिपोर्ट के लिए नई दिल्ली की डेवलपमेंट एंड रिसर्च प्राइवेट लि फर्म को अधिकृत किया है। शोध में पालकों-बच्चों, स्कूल प्रबंधन और जिले के अधिकारियों से भी फीडबैक लिया जाएगा। इस रिपोर्ट के आधार पर आरटीइ के प्रभाव का भी आंकलन किया जाएगा।
नीति आयोग ने इस शोध रिपोर्ट के लिए नई दिल्ली की डेवलपमेंट एंड रिसर्च प्राइवेट लि फर्म को अधिकृत किया है। शोध में पालकों-बच्चों, स्कूल प्रबंधन और जिले के अधिकारियों से भी फीडबैक लिया जाएगा। इस रिपोर्ट के आधार पर आरटीइ के प्रभाव का भी आंकलन किया जाएगा।
शिक्षा के अधिकार अधिनियम का मप्र में अच्छा क्रियान्वयन हुआ है। इसको लेकर नीति आयोग ने पांच जिलों का चयन किया है। जहां शोध रिपोर्ट तैयार की जाएगी।
रमाकांत तिवारी, उप संचालक, राज्य शिक्षा केंद्र
रमाकांत तिवारी, उप संचालक, राज्य शिक्षा केंद्र