प्रदेश में पंचायत चुनावों की घोषणा कर दी गई थी और इसी के साथ आचार संहिता लागू कर दी गई थी. ऐसे में पंच, सरपंचों के अधिकार खत्म कर दिए गए थे हालांकि बाद में पंचायत चुनाव निरस्त हो गए. अब पंचायत चुनाव कब होंगे, यह तय नहीं है. ऐसे में गांवों में विकास कार्य थम से गए थे. कोविड की तीसरी लहर को देखते हुए गांवों में शासकीय कार्य और गतिविधियां जारी रखने की जरूरत महसूस की जा रही थी.
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— जब तब चुनाव नहीं होंगे तब तक पूर्व पंचों और सरपंचों को ही पंचायत चलाने की जिम्मेदारी
— गांवों में कोविड संक्रमण पर नियंत्रण की अहम जिम्मेदारी
— सभी से गाइडलाइन का पालन करने को कहा
— 24 घंटे में कोरोना रिपोर्ट देने के निर्देश
— 23 हजार से ज्यादा पंचायतों का संचालन करेगी प्रशासकीय समितियां
— हर हाल में जरूरतमंदों को उपलब्ध कराएं राशन
— पीएम आवास योजना का उचित क्रियान्वयन करें
— संभव हो तो गांव में रोज एक पौधा रोपें