कोर्ट ने कहा- कुठियाला पर लगे कई आरोपों की नहीं की जांच
-पूर्व कुलपति बृज किशोर कुठियाला से भोपाल, जयपुर, दिल्ली और वाराणसी यात्रा की राशि 28196 रुपए और इंडिया इंटरनेशनल सेंटर नई दिल्ली में विवि द़्वारा जमा कराए गए 12218 रुपए यानी कुल 40484 रुपए की वसूली नहीं की गई। इस मामले की जांच नहीं की गई।
-पूर्व कुलपति द्वारा खरीदे गए 10200 रुपए के फिश एक्वेरियम की उपयोगिता की भी जांच अधूरी है।
-कुठियाला को विवि से दिए 1.17 लाख रुपए के लैपटॉप और 7100 रुपए के चार रिचार्जेबल सेल के मामले की जांच भी नहीं हुई, जबकि दो साल में लैपटॉप में 90 फीसदी नुकसान बताकर महज 13104 रुपए जमा करवाए गए थे। पुस्तकालय का भी 3842 रुपए बकाया है।
- कुठियाला ने आवासीय कार्यालय के लिए फर्नीचर, वाइन कैबिनेट समेत अन्य फर्नीचर खरीदा। अनुसंधान अधिकारी ने इस संबंध में पता नहीं किया कि कुलपति को अवासीय कार्यालय के लिए क्या सुविधाएं मिलती हैं?
-विवि से लिए गए आइफोन- 4 की जगह आइफोन 6 की राशि का समायोजन कराया गया। इसकी भी स्क्रीन टूटी हुई थी।
-विवि के खाते से कुठियाला ने पत्नी के साथ हवाई यात्रा के लिए 39600 रुपए दिए गए। दिल्ली में शराब की दो बोतलों का खर्च भी विवि के खाते से उठाया गया। हालांकि दो महीने बाद ये राशि जमा कराई गई, पर ईओडब्ल्यू ने पद के दुरुपयोग की जांच नहीं की।
-पूर्व कुलपति बृज किशोर कुठियाला से भोपाल, जयपुर, दिल्ली और वाराणसी यात्रा की राशि 28196 रुपए और इंडिया इंटरनेशनल सेंटर नई दिल्ली में विवि द़्वारा जमा कराए गए 12218 रुपए यानी कुल 40484 रुपए की वसूली नहीं की गई। इस मामले की जांच नहीं की गई।
-पूर्व कुलपति द्वारा खरीदे गए 10200 रुपए के फिश एक्वेरियम की उपयोगिता की भी जांच अधूरी है।
-कुठियाला को विवि से दिए 1.17 लाख रुपए के लैपटॉप और 7100 रुपए के चार रिचार्जेबल सेल के मामले की जांच भी नहीं हुई, जबकि दो साल में लैपटॉप में 90 फीसदी नुकसान बताकर महज 13104 रुपए जमा करवाए गए थे। पुस्तकालय का भी 3842 रुपए बकाया है।
- कुठियाला ने आवासीय कार्यालय के लिए फर्नीचर, वाइन कैबिनेट समेत अन्य फर्नीचर खरीदा। अनुसंधान अधिकारी ने इस संबंध में पता नहीं किया कि कुलपति को अवासीय कार्यालय के लिए क्या सुविधाएं मिलती हैं?
-विवि से लिए गए आइफोन- 4 की जगह आइफोन 6 की राशि का समायोजन कराया गया। इसकी भी स्क्रीन टूटी हुई थी।
-विवि के खाते से कुठियाला ने पत्नी के साथ हवाई यात्रा के लिए 39600 रुपए दिए गए। दिल्ली में शराब की दो बोतलों का खर्च भी विवि के खाते से उठाया गया। हालांकि दो महीने बाद ये राशि जमा कराई गई, पर ईओडब्ल्यू ने पद के दुरुपयोग की जांच नहीं की।
ईओडब्ल्यू ने खात्मे के लिए दिए ये तर्क
-विश्वविद्यालय में अवैध निुयक्तियों के मामले में जिन लोगों पर आरोप लगे है, उनमें से कुछ लोगों के प्रकरण हाईकोर्ट में लंबित होने से निष्क र्ष नहीं निकला।
-विसनखेड़ी स्थित विवि के नवीन परिसर के निर्माण में किसी भी तरह की अनियमिता सामने नहीं आई।
-अन्य आरोपों के मामले में सबूत नहीं मिलने की बात कही गई।
इधर कांग्रेस ने कोर्ट के फैसले का किया स्वागत
विशेष न्यायाधीश द्वारा माखनलाल चतुर्वेदी पत्रकारिता विवि की जांच बंद करने की याचिका खारिज किए जाने के फैसले का स्वागत किया है। प्रदेश कांग्रेस के मीडिया विभाग के उपाध्यक्ष भूपेंद्र गुप्ता ने कहा कि इस जांच के जारी रहने से सरकार को अपनी छवि सुधारने में मदद मिलेगी। कोर्ट का ये फैसला मील का पत्थर साबित होगा।
-विश्वविद्यालय में अवैध निुयक्तियों के मामले में जिन लोगों पर आरोप लगे है, उनमें से कुछ लोगों के प्रकरण हाईकोर्ट में लंबित होने से निष्क र्ष नहीं निकला।
-विसनखेड़ी स्थित विवि के नवीन परिसर के निर्माण में किसी भी तरह की अनियमिता सामने नहीं आई।
-अन्य आरोपों के मामले में सबूत नहीं मिलने की बात कही गई।
इधर कांग्रेस ने कोर्ट के फैसले का किया स्वागत
विशेष न्यायाधीश द्वारा माखनलाल चतुर्वेदी पत्रकारिता विवि की जांच बंद करने की याचिका खारिज किए जाने के फैसले का स्वागत किया है। प्रदेश कांग्रेस के मीडिया विभाग के उपाध्यक्ष भूपेंद्र गुप्ता ने कहा कि इस जांच के जारी रहने से सरकार को अपनी छवि सुधारने में मदद मिलेगी। कोर्ट का ये फैसला मील का पत्थर साबित होगा।