बरकतउल्ला विश्वविद्यालय समेत मध्यप्रदेश की सभी यूनिवर्सिटी में फाइल सेमेस्टर की परीक्षाओं में जनरल प्रमोशन नहीं मिलेगा। सुप्रीम कोर्ट ने इस संबंध में यूजीसी को जल्द से जल्द सर्कुलर भी जारी करने को कहा गया है। सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि राज्य सरकारें कोरोना संकट को देखते हुए परीक्षाएं टाल नहीं सकतीं। उन्हें हर हाल में परीक्षा आयोजित करानी ही होगी। यूजीसी के 6 जुलाई के सर्कुलर को सही ठहराते हुए कोर्ट ने कहा कि आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत राज्य महामारी को ध्यान में रखते हुए परीक्षा स्थगित कर सकते हैं, लेकिन उन्हें यूजीसी के साथ सलाह-मशविरा करके नई तिथियां तय करनी होंगी। गौरतलब है कि मध्यप्रदेश में इस वर्ष 5 लाख स्टूडेंट्स को ग्रेजुएशन और पोस्टग्रेजुएशन के अंतिम वर्ष की परीक्षाएं देनी हैं।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि यूजीसी एक स्वतंत्र संस्था है, विश्वविद्यालयों में परीक्षाओं के आयोजन की जिम्मेदारी यूजीसी की है न कि किसी राज्य सरकार की। सात ही यूजीसी ने यह भी कहा कि बगैर परीक्षा के मिली डिग्री को मान्यता नहीं दी जा सकती। इसलिए राज्य सरकारें किसी भी छात्र को प्रमोट भी नहीं कर सकती। कोर्ट ने हालांकि यह भी कहा कि जिन राज्यों को कोरोना संकट के दौरान परीक्षा आयोजि कराने में मुश्किल हो रही है, वे यूजीसी के पास एग्जाम टालने का एप्लिकेशन दे सकती हैं।
गौरतलब है कि विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) की ओर से 6 जुलाई 2020 को देशभर के विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में यूजी और पीजी पाठ्यक्रमों के अंतिम वर्ष की एग्जाम को 30 सितंबर 2020 तक पूरा कराने के संबध में सर्कुलर जारी किया गया था। इसे लेकर देशभर के अलग-अलग शिक्षण संस्थानों के 31 छात्रों ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था।
शिवराज ने की थी ये घोषणा
पिछले माह मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने घोषणा की थी कि ग्रेजुएशन (UG) और पोस्ट-ग्रेजुएशन (PG) के फाइनल ईयर के स्टूडेंट्स अपने घर में रहकर ही परीक्षाएं दे सकेंगे और अपनी उत्तरपुस्तिकाओं को अपने करीबी कलेक्शन सेंटर में सबमिट करा सकेंगे। राज्य सरकार द्वारा लिए गए इस फैसले के मुताबिक, ग्रेजुएशन के थर्ड ईयर के स्टूडेंट्स को प्रश्न पत्र ऑनलाइन भेजे जाएंगे और स्टूडेंट्स घरों में रहकर सुरक्षा का ख्याल रखते हुए अपने पेपर करेंगे। चौहान ने कहा था कि ग्रेजुएशन के पहले और दूसरे ईयर के स्टूडेंट्स और पोस्ट-ग्रेजुएशन के पहले वर्ष के स्टूडेंट्स को पिछले वर्ष के परीक्षा परिणाम और वर्तमान सत्र के आंतरिक मूल्यांकन के आधार पर अगली क्लास में प्रमोट किया जाएगा।
31 तक जमा करें फार्म
बरकतउल्ला विश्वविद्यालय (बीयू) एमए, एमएससी, पीजी डिप्लोमा कोर्स, बीएएलएलबी, एलएलएम, पीजीडीसीए समेत अन्य कोर्स के एग्जाम फार्म 31 अगस्त तक जमा कराएगा। 300 रुपए के विलंब शुल्क के साथ तीन सितंबर तक आवेदन जमा किए जा सकते हैं।