अतिक्रमणकारियों ने पुराने शहर के ज्यातादर इलाकों को सडक़ों पर कब्जा कर रखा है। शहर में बढ़ते अतिक्रमण की ओर न तो नगर निगम ध्यान दे रहा है और न ही जिला प्रशासन द्वारा कोई कार्रवाई की जा रही है। स्थिति यह है कि कब्जे के चलते जगह-जगह जाम लग रहा है। पांच मिनट का सफर 30 मिनट में पूरा हो रहा है।
फुटपाथ पर भी अतिक्रमण
अपवाद छोड़ दें तो शहर में ऐसा कोई मार्ग नहीं है, जहां सडक़ किनारे फुटपाथ पर अतिक्रमण न हो। लोगों द्वारा सडक़ों पर कब्जा जमा लेने से सडक़ें संकरी हो गई हैं। लालघाटी से सीहोर नाका तक जाने में 15 मिनट की जगह घंटा भर समय लग रहा है। सबसे व्यस्त मार्ग संकरा होने से स्टेशन क्षेत्र, सहित ऐसे कई मोहल्लों को जोडऩे वाले मार्ग पर पैदल चलना भी मुश्किल है।
बगैर पार्किंग के पास होते गए नक्शे
शहर में ऐसी अधिकांश कॉलोनियां, शॉपिंग मॉल, हॉस्पिटल और स्कूल हैं, जिनके पास पार्किंग तक नहीं की जगह नहीं है। इसके बाद भी इन्हें भवन निर्माण करने का नक्शा पास हो गया। इससे इन संस्थानों में आने वाले लोगों के वाहन सडक़ों पर खड़े होते हैं। सडक़ किनारे वाहनों की कतार लगने से आए दिन जाम लगता है। यह समस्या स्टेशन रोड आदि जगहों पर बनती है।
इन इलाकों में स्थित खराब
अतिक्रमण से पुराने शहर के लगभग सभी क्षेत्र प्रभावित हैं, लेकिन करोंद, गांधीनगर, इतवारा, चौक बाजार, भारात टॉकीज, पुल बोगदा, अशोका गार्डन, जहांगीराबाद, बरखेड़ी, काजी कैम्प, छोला रोड, हमीदिया रोड, बैरागढ़, आनंद नगर आदि इलाकों में अतिक्रमण से हालात खराब हैं।
इन इलाकों में स्थित खराब
अतिक्रमण से पुराने शहर के लगभग सभी क्षेत्र प्रभावित हैं, लेकिन करोंद, गांधीनगर, इतवारा, चौक बाजार, भारात टॉकीज, पुल बोगदा, अशोका गार्डन, जहांगीराबाद, बरखेड़ी, काजी कैम्प, छोला रोड, हमीदिया रोड, बैरागढ़, आनंद नगर आदि इलाकों में अतिक्रमण से हालात खराब हैं।
पुराने शहर के अधिकांश इलाकों में ट्रैफिक जा रहता है। सढक़ों पर अतिक्रमण की वजह से पांच मिनिट का सफर पूरा करने में कई बार दस गुना अधिक समय लगता हे। अतिक्रमण हटाने ठोस कार्रवाई करनी चाहिए।
धर्मेन्द्र शर्मा, रहवासी करोंद
भोपाल को देश में नंबर एक शहर बनाने के लिये हम लगातार प्रयास कर रहे हैं। अतिक्रमण एक बड़ी समस्या है। इसे हटाने योजना बनाकर कार्रवाई की जायेगी। आमजन को परेशानी न हो इसका पूरा ध्यान रखा जाएगा।
आलोक शर्मा, महापौर