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पर्ची नहीं तो रुपए देकर वाहन ले जाओ, हाइटेक सुविधाओं के नाम पर ठेकेदार कंपनी की हो रही चांदी

locationभोपालPublished: Dec 14, 2019 11:26:15 am

– एमपी नगर मल्टीलेवल स्मार्ट पार्किंग में बिना रसीद के हो रही वसूली

पर्ची नहीं तो रुपए देकर वाहन ले जाओ

पर्ची नहीं तो रुपए देकर वाहन ले जाओ

भोपाल. मल्टीलेवल पार्किंग के बेहतर संचालन के लिए माइंडटेक से हटाकर भोपाल स्मार्ट सिटी डवलपमेंट कार्पोरेशन को तो सौंप दिया गया, लेकिन जमीनी व्यवस्थाएं चाक-चौबंद नहीं हैं। मल्टीलेवल पार्किंग समेत राजधानी के कमर्शियल हब एमपी नगर में करीब बीस हजार वाहनों का आवागमन होता है। इससे निगम के खाते में जितना राजस्व आना चाहिए, वह निगम के खाते ेमें आने की जगह कर्मचारियों की जेब में चला जाता है।

– कोई भी शुल्क अदा कर दूसरे का वाहन उठा ले जाए

मल्टीलेवल पार्किंग में तो इतनी अव्यवस्था और वाहनों की असुरक्षा है कि आप वाहन खड़ा करके आएं और वापस जाने पर मिल ही जाए, यह पक्का नहीं है। आपके वाहन को कोई भी आसानी से उठाकर जा सकता है। आप एक्सट्रा चार्ज देकर किसी और व्यक्ति का भी वाहन उठाकर ले जा सकते हैं। अतिरिक्त पैसा देने पर वहां का कर्मचारी बिना पर्ची भी आपको जाने देगा। इस बात का खुलासा पत्रिका एक्सपोज टीम के स्टिंग में हुआ।

– बिना रसीद वसूली से नगर निगम को लगेगी लाखों की चपत

मंगलवार शाम को एमपी नगर स्थित स्मार्ट सिटी की मल्टीलेवल पार्किंग में स्मार्ट सिटी की टीम पहुंची। पर्ची लेने के लिए रुकने को लगा बूम बैरियर टूटा पड़ा था। कोई भी बिना पर्ची लिए सीधा अंदर जा सकता है। इसके बाद नीचे पार्किंग में टीम पहुंची तो वहां पर एक-दो वाहन पार्क करने वाले तो दिखे, लेकिन कोई गार्ड या सुरक्षाकर्मी नहीं दिखा। ऐसे में कोई किसी दूसरे की गाड़ी में चाबी लगाकर वाहन आसानी से ले जा सकता है। इसके लिए उसे निर्गम पोस्ट पर कर्मचारी को दोगुना शुल्क देकर तसल्ली देनी होगी कि वाहन उसी का है। टीम ने ऐसा ही किया और कर्मचारी ने दोगुना शुल्क लेकर बाइक को ले जाने दिया।

कर्मचारी से सीधी बात …
रिपोर्टर: कितने पैसे हुए, पच्चीस रुपए…?
कर्मचारी: पर्ची दिखाओ।
रिपोर्टर: पर्ची वाला बैरियर को बंद पड़ा है।
कर्मचारी: नहीं, बंद नहीं है।
रिपोर्टर: पर्ची तो है नहीं, ऐसे ही पैसे ले लो। कितने पैसे दूं?
कर्मचारी: 20 रुपए दे दो और रजिस्ट्रेशन कार्ड दिखा दो।
रिपोर्टर: रजिस्ट्रेशन कार्ड जेब में लेकर नहीं चलता, मेरी ही गाड़ी है।
कर्मचारी: .. तो आधार कार्ड ही दिखा दो।
रिपोर्टर: आधार कार्ड भी नहीं है। मैं तो यहां आता रहता हूं, मेरी ही गाड़ी है।
कर्मचारी: ठीक है, बीस रुपए दे दो।
(इसके बाद रिपोर्टर ने कर्मचारी को बीस रुपए दिए और साथी के साथ बाहर चला गया।)

एमपी नगर में मल्टीलेवल स्मार्ट पार्किंग की चाक-चौबंद व्यवस्थाएं हैं। बिना पर्ची के शुल्क वसूला जा रहा है तो इसकी जांच कराई जाएगी।
– नितिन दवे, पीआरओ, भोपाल स्मार्ट सिटी

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