हालांकि पुलिस की जांच अभी जारी है। दरअसल, बीते मंगलवार की सुबह पंचशील नगर के शासकीय सरदार पटेल नवीन हाई स्कूल में एक युवक की जली हुई लाश मिलने से सनसनी फैल गई थी। लाश स्कूल के निर्माणाधीन कमरे में मिली। लाश के गले में लोहे की जंजीर बंधी थी, जिसका दूसरा हिस्सा खिडक़ी से बंधा था।
कमरे की दीवार पर लिखा है तीन दिन से लापता युवक का नाम
एक युवक सात दिसंबर से है लापता
इलाके में रहने वाला एक परिवार मौके पर पहुंचा। इनका 25 वर्षीय बेटा अनिल ठाकरे सात दिसंबर से लापता है। अनिल के भाई सोहन ने शव देखा, पर इसके बुरी तरह जले होने से वह शिनाख्त नहीं कर पाया। अनिल की मां विमला बाई ने बताया कि वह बीते 30 नवंबर रविवार को अनिल के साथ मेहंदीपुर बालाजी गई थीं। उसका मोबाइल और बाइक घर पर ही हैं। कुछ ही दिनों में अनिल की शादी होने वाली थी।
बदबू आने पर कमरे में गया तो दिखी लाश
स्कूल के चपरासी बाबू भाई ने बताया कि मैं सोमवार शाम स्कूल में ताला लगाकर घर चला गया था। मंगलवार सुबह स्कूल का ताला खोलने के बाद स्कूल के पिछले हिस्से में गया तो बदबू आ रही थी। निर्माणधीन कमरे में झांककर देखा तो शव पड़ा था। तुरंत ही स्कूल के प्राचार्य डॉ. अभिषेक को जानकारी दी। वे साथ आए और भांप गए कि ये किसी व्यक्ति का शव है। करीब नौ बजे पुलिस मौके पर आई।
इन पांच बिंदुओं से खुलेगा हत्या का राज
1. गेट-बाउंड्री: स्कूल में तीन गेट हैं और रात में तीनों में ताला लगाया जाता है। स्कूल की बाउंड्री 8 से 10 फीट ऊंची है। चारों ओर घर हैं। बाहर से लाश अंदर लाना मुश्किल है। पुलिस का मानना है कि बाउंड्री लांघकर हत्यारे और मृतक अंदर आए होंगे। बाद में हत्या की गई।
2. जंजीर-ताला: शव में बंधी जंजीर दोनों छोर पर बेल्डिंग के पीले टांके से जुड़ी हुई थी। खिडक़ी से बंधी जंजीर की रिंग पर ताला था, पर ये खुला था। जांच में पता चला कि ऐसी जंजीर का उपयोग स्कूल के अन्य दरवाजों में किया जा रहा है।
3. दीवार पर लिखा नाम: जिस कमरे में लाश जलाई गई, उसकी दीवार पर अनिल नाम लिखा है। ये नाम शव जलाने से पहले लिखा गया। पुलिस पता कर रही है कि अनिल का स्कूल में आना-जाना तो नहीं था। हो सकता है घटना के दिन उसने खुद अपना नाम लिखा हो।
4. आग की लपटें और दुर्गंध: शव जलाते समय आग की लपटें दूर तक गई हैं। इसका प्रमाण घटना पास लगे पेड़ की पत्तियों का झुलसना है। इसके बावजूद आसपास के लोगों को आग की लपटें क्यों नहीं दिखीं और उन्हें बदबू क्यों नहीं आई।
5. असामाजिक तत्वों का डेरा:
रात में स्कूल की बाउंड्रीवॉल फांदकर असामाजिक तत्व स्कूल में दाखिल होते हैं। यहां नशा और जुआ-सट़्टे जैसी गतिविधियां संचालित होती हैं। पुलिस ऐसे लोगों की पहचान कर रही है, जो स्कूल परिसर में आते-जाते थे।
तीन दिन से काम बंद है
जिस निर्माणाीधन कमरे में लाश मिली है, वह प्राथमिक स्कूल का हिस्सा है। ये करीब एक साल से बंद है। कक्षा एक से दसवीं तक की कक्षाएं हाई स्कूल परिसर में लगती हैं। इस तरफ किसी का आना-जाना नहीं है। यहां टॉयलेट बनाए जा रहे हैं, पर तीन दिन से मजदूर काम पर नहीं आए। – डॉ. अभिषेक सिंह बैस, प्राचार्य
जल्द करेंगे खुलासा
शव की शिनाख्त नहीं हो सकी है। इलाके से लापता तीन से चार लोगों की पड़ताल की जा रही है। प्रथम दृष्टया ये लग रहा है कि शव को दो से तीन दिन पहले जलाया गया होगा। जल्द ही पूरे मामले का खुलासा किया जाएगा। – अखिल पटेल, एएसपी