लगातार बारिश का असर मलकानगिरि की आठ छोटी बड़ी नदियों पर पड़ा। कई गांवों में पानी भर गया। एमवी 11 परलकोटा व कोरुकॉंडा में जलभराव हो गया। मलकानगिरि हेडक्वार्टर और बालिमेला के बीच संपर्क प्रभावित रहा, यहां की सड़कों, गलियों और घरों में पानी भर गया। जिले में 244 मिमी.बारिश रिकार्ड की गयी। कोरापुट के कोलाब बांध के दो गेट खोल दिए जाने से नदियों और नहरों में बाढ़ की स्थिति दिखी। इस समय दो हजार क्यूबिक मीटर पानी प्रति सेकेंड रिजर्वायर में भर रहा है। मयूरभंज का उडाला, नुआपाडा, भवानीपटना, कालाहांडी, अष्टरंगा पुरी व
रायगढ़ा के कई हिस्से जलमग्न हैं।
मुख्यसचिव एपी पाढ़ी ने बताया कि चक्रवात का ज्यादा असर ओडिशा पर नहीं पड़ा पर एहतियातन जिला कलक्टरों को अलर्ट जारी कर दिया है। कहा गया है कि वो अपनी तरफ
से पूरी तैयारी रखें।
पडोसी राज्यों की ओर मुड़ा तूफान
बता दें कि मौसम विभाग की ओर से संभावना व्यक्त की गई थी कि बंगाल की खाड़ी पश्चिमी-मध्य भाग में बने गहरे दबाव का क्षेत्र और तेज होकर चक्रवाती तूफान में तब्दील हो सकता है। राज्य के कुछ हिस्सों में तेज हवाओं के साथ बारिश हो सकती है। हालांकि राज्य के कई हिस्सों में बारिश देखने को मिली। पर अब यक चक्रवाती तूफान राज्य में असर दिखाने के बाद पडोसी राज्यों की ओर मुड गया है। भुवनेश्वर के मौसम विज्ञान केंद्र के मुताबिक चक्रवाती तूफान ‘डे’ बंगाल की खाड़ी के उत्तर-पश्चिम में बना था और यह वहां से पश्चिम-उत्तर पश्चिम होते हुए 23 किमी प्रति घंटे की स्पीड से दक्षिण ओडिशा और यहां के गोपालपुर से सटे आंध्र प्रदेश के इलाकों में पहुंच गया। आगे यह पश्चिम-उत्तर पश्चिम की ओर जाएगा और धीरे-धीरे कमजोर हो जाएगा।