निगम आयुक्त डॉ. खुशाल यादव बताते है कि आश्रय स्थलों में सोडियम हाइपोक्लोराइट का छिडक़ाव भी किया जा रहा है। हाथ धोने के लिए साबुन, सेनेटाइजर, मास्क इत्यादि भी उपलब्ध करवाए हुए है। वहीं यहां रहने वाले लोगों के स्वास्थ्य की जांच के साथ चिंता, अवसाद को ध्यान में रखते हुए उनका मानसिक स्वास्थ्य परीक्षण भी करवाया जाता है। स्वस्थ और तंदुरस्त रहे इसके लिए योगाभ्यास की भी व्यवस्था की गई है।
कई राज्यों के लोगों ने लिया आसरा
कोरोना के कारण चल रहे लॉक डाउन में नगर निगम के चारों आश्रय स्थलों में करीब साढ़े तीन सौ लोगों ने आसरा लिया। कई लोग अब अपने घरों को जा चुके है, कुछ अब जाने की तैयारी में है। प्रबंधक नीलू बताती है कि कोरोना काल में निगम आश्रय स्थलों में झारखण्ड, बिहार, मध्यप्रदेश, उत्तर प्रदेश, पंजाब सहित प्रदेश के झालावाड, बांरा, श्रीगंगानगर, अजमेर आदि स्थानों के लोग आश्रय स्थलों में पहुंचे।
हर पल सेवा को तत्पर
नगर निगम के जिला अस्पताल, रेलवे स्टेशन, बीछवाल अग्निशमन केन्द्र और बीछवाल निजी बस स्टैण्ड स्थित आश्रय स्थलों में चौबीसों घंटे आश्रय स्थलों के मैनेजर, केयर टेकर और चौकीदार आश्रय स्थलों में रहने वाले लोगों की सेवा में जुटे हुए है। डेएनयूएलएम की प्रबंधक नीलू भाटी के अनुसार आश्रय स्थलों में रहने वाले लोगों के लिए सुबह और शाम भोजन के साथ ठण्डा पानी, कूलर, पंखा, मोबाइल रिचार्ज सुविधा, मनोरंजन के लिए चैस, लूडडो की सुविधा, योगाभ्यास, स्वास्थ्य जांच इत्यादि की सुविधाएं उपलब्ध करवाई जा रही है। आश्रय स्थलों के प्रबंधक राजेन्द्र, अरविन्द ओझा, जगमोहन व्यास और हंसराज के नेतृत्व में 12 केयर टेकर और चार चौकीदार हर पल सेवाएं देने के लिए मौजूद रहते है।