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बीकानेर के इस गांव में पेयजल के लिए गुस्साए ग्रामीण चढ़े गए पानी की टंकी पर

locationबीकानेरPublished: May 01, 2019 09:40:01 am

Submitted by:

Atul Acharya

पीने के पानी की समस्या के चलते मंगलवार को ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा

water crisis in bikaner

बीकानेर के इस गांव में पेयजल के लिए गुस्साए ग्रामीण चढ़े गए पानी की टंकी पर

श्रीडूंगरगढ़. उपखंड के माणकरासर गांव में पीने के पानी की समस्या के चलते मंगलवार को ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा और पानी की समस्या को लेकर गांव में जलदाय विभाग के खिलाफ नारेबाजी की। ग्रामीणों ने बताया कि पिछले 3 दिनों से गांव के कुएं बंद है और मोटर व बूस्टर जल गया है। विभाग के अधिकारियों को इस बारे में अवगत करवाने के बावजूद कार्रवाई नहीं हुई। इस पर गुस्साए ग्रामीण जलदाय विभाग के उच्च जलाशय पर चढ़कर प्रदर्शन करने लगे।

टंकी पर ग्रामीणों के चढऩे की सूचना मिलने पर सेरूणा पुलिस मौके पर पहुंची और क्षेत्रीय विधायक गिरधारीलाल महिया भी मौके पर पहुंचे लेकिन प्रशासन का कोई समक्ष अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचा। रात सवा आठ बजे के बाद भी ग्रामीण टंकी पर बैठे रहे और प्रदर्शन जारी है। रात को जलदाय विभाग के सहायक अभियंता मौके पर पहुंचे और जनप्रतिनिधि व ग्रामीणों से वार्ता की लेकिन विधायक महिया ने उच्चाधिकारी के बिना वार्ता करने से मना कर दिया है और ग्रामीणों ने भी कहा कि जब तक बूस्टर व मोटर नहीं लग जाते है। तब तक धरना और प्रदर्शन जारी रखेंगे।
ग्रामीणों ने बताया कि गांव में सात नलकूप बने हैं और सभी बंद है। लोगों को महंगे दामों पर टैंकरों से पानी मंगवाना पड़ रहा है। जलदाय विभाग के सहायक अभियंता ने बताया कि आज ही सूचना मिली है कि माणकरासर में नलकूप बंद है। अपने साथ एक बूस्टर लेकर भी आए है लेकिन उनकी क्षमता कम है। ग्रामीण बड़ा बूस्टर लगाने की मांग पर अड़े है। देर रात तक बड़ी संख्या में ग्रामीण टंकी के पास जमा रहे।
आश्वासन मिलने पर टंकी से उतरे ग्रामीण
जलदाय विभाग के लिखित में आश्वासन मिलने पर ग्रामीण साढ़े चार घंटे बाद टंकी से नीचे उतर गए। इसके साथ ही प्रशासन ने राहत की सांस ली। दो दिन में पेयजल समस्या का निराकरण करने का आश्वासन मिलते टंकी पर चढ़े ग्रामीण टंकी से नीचे उतर आए। दो दिन में समस्या का निराकरण नहीं होने पर विधायक व सरपंच समेत ग्रामीणों ने पुन: आंदोलन करने की चेतावनी दी।
बंधाला में नलकूप तीन महीने से बंद
पिथरासर. जलदाय विभाग की लापरवाही से चलते बंधाला गांव का सरकारी नलकूप गत एक महीने से बंद है। ग्रामीणों ने बताया कि तीन नंबर नलकूप बंद होने के कारण आवारा पशुओं को प्यास बुझाने के लिए भटकना पड़ा है। ग्रामीण ओमप्रकाश विश्नोई ने बताया कि आवारा पशु पानी पीने के लिए खेळी पर पहुंचते हैं लेकिन खेळी को खाली देखकर भटकते रहते हैं। ग्रामीणों ने बताया कि नलकूप चालू करने के लिए आज तक कोई अधिकारी नहीं पहुंचे हैं। उधर, जयसिंहदेसर मगरा से चार किमी दूर मुंजासर रोड पर रामसुख की ढाणी में बना सरकारी नलकूप 21 दिनों से बंद है। सुभाष चंद्र भाम्भू ने बताया कि विभाग के अधिकारी ध्यान नहीं दे रहे हैं।
बिगड़ रहे हालात
लूणकरनसर. जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग की अनदेखी के चलते भीषण गर्मी में गत तीन महीने से पेयजल संकट झेल रहे रेखमेघाणा में दिनोंदिन हालात बिगड़ रहे है। विभागीय अधिकारियों द्वारा सुनवाई नहीं करने से ग्रामीणों में आक्रोश बढ़ रहा है। ग्रामवासी लक्ष्मणराम धतरवाल ने बताया कि गांव में तीन महीने से जलापूर्ति व्यवस्था गड़बड़ाई हुई है। पेयजल आपूर्ति के लिए बिछाई गई घटिया पाइप लाइन से समीपवर्ती कांकड़वाला गांव से पानी नहीं पहुंच रहा है। इसको लेकर कई बार विभागीय अधिकारियों व उपखण्ड प्रशासन को अवगत करवा दिया गया लेकिन सुनवाई नहीं हुई है।
सोमवार को जलदाय विभाग के सहायक अभियंता कार्यालय पहुंचकर लोगों ने रोष जताया। लेकिन अधिकारियों ने ध्यान नहीं दिया है। पानी के अभाव में पशुधन इधर-उधर भटक रहा है। पानी के अभाव में आवारा पशुओं के हाल-बेहाल है। ग्रामीणों ने टैंकर से पानी परिवहन कर जलापूर्ति की मांग पर जिला कलक्टर को अवगत कराया है।

94 लाख खर्च फिर भी लोग प्यासे
श्रीडूंगरगढ़. यहां आडसर बास में छह माह पूर्व 94 लाख रुपए की लागत से टंकी बनने के बाद भी मोहल्ले के लोग प्यासे हंै। इससे जलापूर्ति चालू नहीं होने से समस्या जस की तस है। यह टंकी अब नाकारा साबित हो रही है। छह माह पूर्व इसका उद्घाटन भी किया जा चुका है। मोहल्लेवासियों ने जलदाय विभाग को अवगत करवा कर पेयजल आपूर्ति चालू करवाने की मांग रखी है। कस्बे के आडसर बास में जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग ने अनुसूचित जाति बस्ती वार्ड संख्या 17 से 23 के सर्विस लेवल सुधार के लिए तीन सौ दस केएल क्षमता के उच्च जलाशय का निर्माण करवाया था।
इस पर जलदाय विभाग ने 93 लाख 61 हजार रुपए खर्च किए थे। निर्माण होने के बाद गत छह माह पहले इसका उद्घाटन भी किया जा चुका है लेकिन पाइप लाइन से नहीं जोडऩे के कारण पानी की आपूर्ति अभी तक शुरू नहीं हो पाई है। इससे मोहल्ले के वासी पेयजल किल्लत झेल रहे हैं।

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