सन 1980 से अब तक लावारिस हालत में मिली करीब 50 बाइकों को पुलिस ने उनके मालिकों के सुपुर्द कर दिया। जिले के 20 थाना क्षेत्रों में लावारिस वाहनों को पिछले १ सप्ताह से पुलिस मैदान में सभी थानों से लाकर डंप किया जा रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों के थानों में लावारिस वाहनों को थाना परिसर से वापस किया गया है। पुलिस मैदान में डंप किए गए वाहनों को संबंधित कंपनी की बाइक के अनुसार डिस्प्ले में रखा गया है ताकि वाहनों को उनके मालिकों द्वारा पहचान की जा सके। लावारिस मिले ५९१ वाहन अब तक डिस्प्ले में रखे जा चुके हैं। डिस्प्ले में रखे गए वाहनों को करीब ५ हजार से अधिक व्यक्तियों ने देखने के बाद अपने-अपने वाहनों की तलाश करने की कोशिश की है।
1000 से अधिक बाइकें जलकर हो चुकी हैं खाक
सिविल लाइन, कोतवाली, तोरवा, तारबाहर, कोनी, सकरी समेत कुल ८ थानों में जब्ती के वाहनों को तत्कालीन आईजी दिपांशु काबरा के आदेश पर अप्रैल २०१८ में सिरगिट्टी थाना में डंप किया गया था। ये सभी बाइक अपराधिक कृत्यों में इस्तेमाल की गयी थीं। मई २०१८ में अचानक आग लग गई थी। आगजनी की घटना में करीब १००० से अधिक बाइकें जलकर खाक हो गई थी। इन वाहनों के सिर्फ चेचिस ही बची है। खाक हुए बाइक लावारिस और बरामद वाहनों से अलग रखी गयी थी।
आरटीओ को भेजी जानकारी: जब्ति के कई वाहन एेसे भी जिनके असली नंबर पुलिस के पास उपलब्ध नहीं है। एेसे वाहनों के मालिको को पता लगाने के लिए थानेदारों ने संबंधित कंपनी की बाइक की एजेंसियों और कंपनी को बाइक मालिक के नाम और पता उपलब्ध कराने बाइकों के इंजन और चेचिस नंबर भेजे हैं। साथ ही मालिको का पता लगाने आरटीओ को वाहनों के नंबर भेजे गए हैं।
थाना लावारिस चोरी संदिग्ध दुर्घटनाग्रस्त अन्य
सरकंडा १२ ०३ ०२ ०३ ०८
सीपत ११५ ०७ ०१ २१ २७
सकरी ६९ ०१ ०० ०१ ०५
तोरवा ०५ ०० ०० ०० ००
कोनी ५२ ०२ ०३ ०४ १२
सिरगिट्टी ०३ १२ ०१ ०० ००
सिविल लाइन १८ १३ ०० ०१ ०५
पेण्ड्रा ०९ ०३ ०० ०४ १५
गौरेला २२ ०१ ०१ ०५ ०७
कोटा ३५ ०४ ०० ०० ०१
चकरभाठा ०० ०७ ०१ ०२ १३
मस्तूरी ०० ०२ ०० ०८ ०७
बिल्हा ०० १० ०३ ०९ ०६
पचपेड़ी ०० ०० ०० १६ ०६
बेलगहना ०४ ०० ०२ ०५ ०९
मल्हार ११ ०३ ०० ०१ ०२
कोतवाली १६ २३ ०१ ०३ ०४
हिरी ८५ ०२ ०५ ०० ००
तारबाहर २० १३ ०२ ०० ०६
रतनपुर ४५ ०२ ०४ ०४ १२
तखतपुर ९२ ०२ ०० ०९ ०६