झांसी की रानी बन हॉस्टल से बाहर निकलीं छात्राएं, पथ संचलन कर बताईं उपलब्धियां
बिलासपुर. तेजस्विनी सेवा प्रतिष्ठान द्वारा तेजस्वनी छात्रावास परिजात कॉलोनी में आयोजित हो रहे तीन दिवसीय धार्मिक कार्यक्रम का गुरुवार का समापन हो गया। अंतिम दिन व रणरागिणी झांसी की रानी का जन्म दिवस मनाया गया। कार्यक्रम में बड़ी संख्या में महिलाओं और छात्राओं ने भाग लिया। पूजा-अर्चना के साथ सुबह 8 बजे से 8:45 तक गाजे बाजे के साथ शहर की सड़कों पर पथ संचलन किया गया।
IMAGE CREDIT: patrika पथ संचलन में युवतियां स्वंय ढोल नगाड़ा लेकर चल रहीं थीं। सुबह करीब 9 बजे झांसी की रानी मानव वंदना और कुंकुमार्चन व प्रसाद वितरण किया गया। तेजस्विनी सेवा प्रतिष्ठान अध्यक्ष शारदा राहालकर, सचिव सुलभा देशपांडे ने बताया कि प्रति वर्ष के अनुसार इस वर्ष भी तीन दिवसीय तेजस्विनी स्मृति समारोह का आयोजन किया गया। प्रथम दिन भारत माता प्रांण प्रतिष्ठा कार्यक्रम एवं हवन आयोजित किया गया था। इस मौके पर छात्राओं द्वारा भारत वंदना गीत कार्यक्रम आयोजित किए गए थे। द्वितीय दिवस श्रीमद भागवत गीता 18 वें अध्याय का पाठ किया गया और अंतिम दिन महारानी झांसी की रानी के जन्म दिवस अवसर पर छात्राओं ने विविध आयोजन किए। कार्यक्रम को लेकर छात्राएं उत्साहित दिखीं।
IMAGE CREDIT: patrikaझांसी की रानी के रूप में दिखीं छात्राएं : गुरुवार को छात्रों ने महारानी लक्ष्मीबाई की वेशभूषा में झांकी निकाली और पथ संचलन किया। कार्यक्रम में छात्राओं ने उत्साह पूर्वक भाग लिया। छात्राओं को महारानी लक्ष्मीबाई की वीरता की जानकारी दी गयी। वीरगाथा सुनकर छात्राएं गौरवान्वित और रोमांचित हुईं। पूजा में महिलाएं शामिल : परिजात कॉलोनी तेजस्विनी छात्रावास में झांसी की रानी के जन्म दिवस पर बड़ी संख्या में स्थानीय महिलाओं ने भी भाग लिया। समूह की महिलाओं ने सबसे पहले पूजा-अर्चना की और झांसी की रानी की वीरता को याद किया। देश की रक्षा में महिलाओं के योगदान को समझाया गया।
Hindi News / Bilaspur / झांसी की रानी बन हॉस्टल से बाहर निकलीं छात्राएं, पथ संचलन कर बताईं उपलब्धियां