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कहां जा रहे नाजुक उम्र के ये बच्चे, 20 थानों से 110 बालिकाएं व 44 लड़के गायब, पुलिस ने सिर्फ 15 को किया बरामद

locationबिलासपुरPublished: Apr 08, 2019 12:49:11 pm

Submitted by:

BRIJESH YADAV

एकलौता नाबालिग बेटा का तलाशने करीब दो सालों से पुलिस अधिकारियों की चौखट रगड़ रहा पिता। सुराग नहीं मिलने पर पुलिस ने तलाश करना कर दिया बंद

Many children missing in Bilaspur Chhattisgarh

कहां जा रहे नाजुक उम्र के ये बच्चे, 20 थानों से 110 बालिकाएं व 44 लड़के गायब, पुलिस ने सिर्फ 15 को किया बरामद

बिलासपुर. लापता हुए नाबालिग एकलौते बेटे की तलाश कर कर रहा पिता पौने दो साल से थाने और पुलिस के आला अधिकारियों के कार्यालयों के चक्कर काट रहा है। थानेदार द्वारा बेटे को तलाश करने का कोई प्रयास नहीं करने की शिकायत भी अधिकारियों से की गई, लेकिन अधिकारियों और थानेदारों के कान में जंू तक नहीं रेंगी। हालयह है कि अब लाचार पिता बेटे को तलाश करने खुद ही प्रयास कर रहा है। वहीं जिले में लापता बच्चों को आंकड़ा 150 से पार हो गया है।
सिविल लाइन थानांतर्गत कुदुदंड निवासी राजकुमार चौहान पिता रंजीत सिंह चौहान ने बताया कि वह रिक्शा चलाकर परिवार का भरण पोषण कर रहा है। उसकी एक बेटी और एक बेटा जलेश्वर चौहान (17 )हैं। 12 वर्ष पूर्व पत्नी की मौत के बाद वह बेटी और बेटे की परवरिश कर रहा है। 15 जुलाई 2017 को उसका बेटा अचानक लापता हो गया। तलाश करने पर बेटा कहीं नहीं मिला तो उसने शिकायत सिविल लाइन पुलिस से की। पुलिस ने 17 जुलाई 2017 को पुलिस ने अज्ञात आरोपी के खिलाफ अपहरण का मामला दर्ज किया था। एफआईआर दर्ज करने के बाद जलेश्वर की तलाश नहीं करने पर राजकुमार ने शिकायत तत्कालीन आईजी और एसपी से की थी। इसके बाद भी तत्कालीन सिविल लाइन थाना प्रभारी ने जलेश्वर को तलाश करने का कोई प्रयास नहीं किया। एक साल के बाद जलेश्वर ने अक्टूबर 2018 में सिविल लाइन पुलिस द्वारा बेटे को तलाश नहीं करने की शिकायत तत्कालीन एसपी से की थी। शिकायत के बाद भी अधिकारियों और सिविल लाइन पुलिस के कान में जूं तक नहीं रेंगी।

बेटे का था एक युवक से विवाद

राजकुमार ने बताया कि उसके बेटे से 27 खोली निवासी एक 17 वर्षीय किशोर से कई बार विवाद हो चुका था। 27 खोली निवासी युवक ने उसके बेटे को कई बार मारने की धमकी दे चुका था। इसकी जानकारी सिविल लाइन पुलिस, एसपी और आईजी को भी दी गई थी, इसके बाद भी पुलिस ने नाबालिग से मेरे बेटे के संबंध में किसी प्रकार की पूछताछ नहीं की।

खुद कर रहा बेटे की तलाश
राजकुमार ने बताया कि थाना, एसपी और आईजी कार्यालय के चक्कर काटने के बाद भी बेटे को तलाश करने पुलिस द्वारा कोई प्रयास नहीं करने पर उसने खुद ही बेटे को तलाश करने का निर्णय लिया। बेटे की तलाश करने लिए वह रायपुर, नागपुर, जबलपुर, रायगढ़ समेत छत्तीसगढ़ के कई शहरों और दूसरे प्रदेशों में भी तलाश कर चुका है।
लापता बच्चों का आंकड़ा 150 से पार
प्रदेश की स्थापना के बाद से प्रदेश में लापता बच्चों का आंकड़ा 150 से पार हो गया है। जिले के 20 थानों के रिकार्ड के अनुसार 44 बालक और 110 बालिकाएं लापता हैं। लापता बच्चों में अधिकांश पुराने मामलों के हैं, जिनमें पुलिस ने 2-5 वर्ष पूर्व अपराध दर्ज किया था। वहीं लापता 15 नाबालिग बच्चे मानसिक रोगी है या मानसिक रूप से कमजोर हैं। भीड़-भाड़ में अलग-थलग दिखने वाले इन बच्चां को भी पुलिस बरामद नहीं कर पाई है।
मार्च में बरामद किए 15 नाबालिग
लापता बच्चों को पकडऩे पुलिस द्वारा मार्च महीने में चलाए गए आपरेशन तलाश-5 में मार्च महीने में 14 बालिका और 1 बालक को बरामद करने में सफल हुई है। लापता बालक और बालिकाएं 10-12 महीने पूर्व लापता हुए थे
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