फर्जी नियुक्ति आदेश से ऐसे हुआ खुलासा : आरोपियों को लाखों रुपए देने के बाद भी पीडि़तों को जब नौकरी में ज्वाईनिंग नहीं मिली तब परेशान होकर पीडि़त पक्ष ने फर्जी नियुक्ति पत्र में जिस अधिकारी का नाम था, उससे अर्थात रीता यादव उप सचिव छग शासन राजस्व व आपदा प्रबंधन विभाग से मुलाकात कर वस्तुस्थिति जानने का प्रयास किया, तभी बड़े ठगी की मामले का खुलासा सामने आया। जिसके बाद लगातार पैसे वापसी की मांग पीडि़त पक्ष के द्वारा तीनों व्यक्ति से मांग की जाने लगी, तब कुछ दिन में पैसे वापसी करने की बात कह कर गुमराह किया जा रहा है। वहीं पैसे मांगने गए महिलाओं से भी दुव्र्यवहार किया गया। जिसके बाद आखिरकार तंग आकर पीडि़त पक्ष के द्वारा पुलिस में शिकायत दर्ज कर आरोपियों के खिलाफ जांच और कार्यवाही की मांग की है।
बेरोजगारों से ३० लाख की ठगी करना स्वीकारा : विवेचना दौरान कार्यवाही करते हुए पतासाजी कर प्रकरण के आरोपीगण द्वारिका नाथ मिश्रा उम्र 61 साल निवासी कुनकुरी, नासरित तिग्गा उम्र 50 साल निवासी बरांगजोर कुनकुरी एवं तेज प्रकाश टोप्पो उम्र 38 साल निवासी खरवाटोली कुनकुरी को हिरासत में लेकर लिया गया। आरोपियों से पूछताछ करने पर अलग-अलग जगह के व्यक्तियों से लगभग 30 लाख रुपए की ठगी करना स्वीकार किया गया, साथ ही उपरोक्त आरोपियों के द्वारा रायपुर में जाकर कोमल सिंह एवं सूर्यपल्ली राव के साथ मिलकर ठगी करना स्वीकार किया। प्रकरण के अन्य आरोपीगण कोमल सिंह और सूर्यपल्ली राव वर्तमान में ठगी के मामले में जेल में निरुद्ध है। द्वारिका नाथ मिश्रा, नसरित तिग्गा व तेज प्रकाश टोप्पो एक साल पूर्व ठगी किए थे व जगदलपुर राजस्व विभाग में भृत्य का नौकरी लगाने के नाम पर ठगी को अंजाम दिया था। आरोपियों ने बेराजगारों से ठगे गए रुपए पैसे खा-पीकर खर्च कर दिए। उक्त सभी आरोपियों को १ जून को विधिवत गिरफ्तार कर न्यायिक अभिरक्षा में भेजा गया है। आरोपियों ने ठगी के अधिकतम पैसों को कोमल सिंह व सूर्यपल्ली को दिए हैं। प्रकरण में अन्य दो आरोपियों की गिरफ्तारी शेष है।