प्रो. दिसारदा ने यहां पीजेंट्स एंड वर्कर्स पार्टी कार्यालय में संवाददाताओं से नोटबंदी मुद्दे पर कहा कि इससे काले धन को समाप्त करने और भ्रष्टाचार पर रोक लगाने में मदद मिलेगी लेकिन इस फैसले से देश की आम जनता और किसानों को बहुत तकलीफें झेलनी पड़ीं।
उन्होंने कहा कि बैंकों से धनराशि निकालने के लिए लंबी-लंबी कतारों में खड़े 100 से भी ज्यादा लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा और पिछले दो महीनों में मुद्रा संकट के कारण कृषि उत्पादों के दामों में जबरदस्त गिरावट आई है। अब लोगों का मोदी सरकार से भरोसा उठ चुका है।
उन्होंने कहा कि नोटबंदी के बाद मोदी ने देश की जनता को नैतिकता एवं राष्ट्रभक्ति के नाम पर भ्रमित करने की कोशिश की जो उनकी अदूरदर्शिता और शासन की निरंकुशता का प्रतीक है।