दरअसल, शबाना आजमी सिने एंड टीवी आर्टिस्ट एसोसिएशन (सिनटा) को दान कर चुकी हैं। इसके साथ ही वह जावेद अख्तर के साथ 4000 से ज्यादा स्लम इलाकों में रहने वालों को खाना बांटने का भी काम कर चुकी हैं। उनके पति जावेद अख्तर ने इंडियन परफॉर्मिंग राइट्स सोसाइटी के 3700 जरूरतमंद सदस्यों को राशन और पैसे का दान देकर मदद (Shabana Azmi Javed Akhtar Helping People) की है।
इसके अलावा शबाना आजमी बताती हैं कि उन्होंने मिजवान वेलफेयर सोसाइटी की तरफ से उत्तर प्रदेश, बिहार, राजस्थान (Rajasthan) और दिल्ली (Delhi) के आसपास के गांवों में 1 जून तक एक लाख किलो से ज्यादा अनाज, छह हजार से ज्यादा हाथ धोने के साबुन, 860 सैनिटरी पैड्स और 27 हजार से ज्यादा कपड़े के मास्क दान किए हैं। इसके साथ ही शबाना आजमी पलायन को लेकर कहती हैं कि पलायन करने वाले लोग हममें से ही एक हैं। वह बताती हैं कि मेरे घर में काम करने वाले सभी लोग बिहार, उड़ीसा और पश्चिम बंगाल से हैं। मेरा मैनेजर भी गोवा का है।
शबानी आजमी आगे कहती हैं कि मेरा जन्म हैदराबाद में हुआ है। मेरे पति जावेद अख्तर ग्वालियर से हैं। इसलिए ये कहना गलत नहीं होगाा कि मुंबई शहर में तीन चौथाई लोग बाहर से हैं जो काम की तलाश में यहां आए हैं। यह एक मुश्किल वक्त है जिसका हमें मिलकर सामना करना होगा।