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लोक अदालत ने दूर किया मनमुटाव, पति-पत्नी साथ रहने को हुए तैयार

locationबूंदीPublished: Jul 13, 2019 10:37:55 pm

तालुका विधिक सेवा समिति के तत्वावधान में शनिवार को अदालत परिसर में आयोजित नेशनल लोक अदालत ने अलग-अलग रह रहे पति- पत्नी के बीच चल रहे मनमुटाव को दूर कर दोनों को साथ-साथ रहने के लिए राजी कर लिया।

lok adaalat ne door kiya manamutaav, pati-patnee saath rahane ko hue t

लोक अदालत ने दूर किया मनमुटाव, पति-पत्नी साथ रहने को हुए तैयार

नैनवां. तालुका विधिक सेवा समिति के तत्वावधान में शनिवार को अदालत परिसर में आयोजित नेशनल लोक अदालत ने अलग-अलग रह रहे पति- पत्नी के बीच चल रहे मनमुटाव को दूर कर दोनों को साथ-साथ रहने के लिए राजी कर लिया। डेलपुरा निवासी शिक्षक भरतराज मीणा व उसकी पत्नी सुमित्रादेवी के बीच मनमुटाव होने से लगभग दो वर्षों से अलग-अलग रह रहे थे। सुमित्रा अपने पीहर पाई गांव में रह रही थी। दोनों ने अपने पुत्र व पुत्री का भी बंटवारा कर रखा था। सातवीं में पढ़ रहा पुत्र आजाद पिता भरतराज के पास व कक्षा चार में पढ़ रही पुत्री मां सुमित्रा के पास रह रही थी।
विधिक सेवा समिति के सचिव जावेद अहमद ने बताया कि मनमुटाव के चलते पत्नि सुमित्रा ने 29 जून को 2018 को शिक्षक पति के खिलाफ भरण पोषण राशि के लिए दावा किया था वहीं शिक्षक पति भरतराज ने अपनी पत्नी के खिलाफ दाम्पत्य सम्बंध वापस जोडऩे के लिए दस सितम्बर को दावा किया था। समिति के अध्यक्ष व अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट रविकांत मीणा ने लोक अदालत में दोनों पति-पत्नी को समझाकर मनमुटाव को दूर कराया तो दोनों साथ-साथ रहने को तैयार हो गए।
88 प्रकरणों का निस्तारण किया
विधिक सेवा समिति के सचिव ने बताया कि शनिवार को आयोजित लोक अदालत में अध्यक्ष अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट रविकांत मीणा व सदस्य महेन्द्र सिंह सिसोदिया एडवोकेट ने 88 प्रकरणों का निस्तारण किया। अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट न्यायालय के चालीस प्रकरणों का राजीनामा के आधार पर निस्तारण किया।

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