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25 साल बाद फिर प्रशासक के हवाले नगर निगम, महापौर गिना गए उपलब्धियां

locationबुरहानपुरPublished: Jan 07, 2020 11:53:15 am

Submitted by:

ranjeet pardeshi

– शहर सरकार का कार्यकाल पूरा- नगर निगम चुनाव समय पर न होने के कारण बैठेगा प्रशासक

After 25 years, the administration was handed over to the administrat

After 25 years, the administration was handed over to the administrat

बुरहानपुर. शहर सरकार के पांच साल पूरे हो गए। नगर निगम परिषद का वर्तमान कार्यकाल समाप्त होने ओर नईपरिषद का गठन न होने के कारण राज्य सरकर वर्तमान परिषद को भंग कर ९ जनवरी से नगरीय निकायों में प्रशासक की नियुक्ति कर देगी। कलेक्टर राजेश कुमार कौल नगर निगम का प्रशासक बनाए जाएंगे। ऐसे में करीब २५ साल बाद एक बार फिर नगर निगम बुरहानपुर की कमान प्रशासक के हाथों में होगी। ये नगरीय निकाय चुनाव न होने के कारण निगम में प्रशासन की नियुक्ति की गई है। कार्याकाल समय होने से दो दिन पहले महापौर अनिल भोसले प्रेसवार्ता लेकर अपनी उपलब्धि गिना गए, लेकिन बड़ा वादा शहरवासियों को ताप्ती का पानी पिलाने का था, वह पूरा नहीं हो सका। इसके पीछे महापौर ने कई तकनीकी समस्या होना बताया।

पांच साल में यह मामले जो सुर्खियों में रहे
ऑडिटोरियम: इंदिरा कॉलोनी में एक करोड़ से अधिक बने परमानंद गोविंदजीवाला ऑडिटोरियम का मामला भी खूब गर्माया। प्रदेश में कांग्रेस सरकार बनने के बाद जब इस ऑडिटोरियम के शुभारंभ की बारी आईतो यह कार्यक्रम राजनीति के भेंट चढ़ गया। कांग्रेस ने इसका शुभारंभ रुकवा दिया। महापौर भी जीद पर अड़े और सांसद की मौजूदगी में बंद दरवाजे के बाहर ही इसका पूजन किया था।
उपलब्धियां
महापौर की जानकारी के अनुसार बीआरजीएफयोजना का दस करोड़ रुपए वापस जा रहा था, जो पूर्वके कार्यकाल में आया था उन रुपए को महापौर अनिल भोसले ने जाने से रोका और इसका निर्माण कार्यकरवाए। जलावर्धन योजना में टंकी निर्माण से लेकर कुएं निर्माण में जमीन को लेकर आ रही कईदिक्कतों को दूर किया। इंदिरा कॉलोनी को पूरी तरह सीवरेज लाइन बिछाई। वातानुकूलित ऑडिटोरियम इंदिरा कॉलोनी में बनवाया। लालबाग में १.५० करोड़ से मांगलिक भवन बनवाया। रोकडिय़ा हनुमान मंदिर १.३४ करोड़ से करवाया। महापौर आपके द्वार शिविर लगाए गए। व्यवसायी, दुकानदारों के प्रतिष्ठानों पर जाकर लाइसेंस बनवाए। टैक्स वसूली के लिए महापौर खुद आगे आए और शहर में जगह-जगह सीसीटीवी कैमरे, कौशल उन्नयन भवन का लोकार्पण। गर्मीमें जहां जलसंकटकी आवाज उठी तुरंत वहां पर बोरिंग कराने के निर्णय लिए। उनके कार्यकाल में किसी तरह का कोईनया कर नहीं बढ़ाया। स्वच्छता के लिए सड़कों के डिवाइडरों का रंगरोगनन और १६ नगर निगम में प्रदेश में २ नंबर पर बुरहानपुर को लाए।

यह रहेगा प्रशासक का पॉवर
नगर निगम में बैठाए गए प्रशासक के पास वे सभी अधिकार होंगे जो मेयर इन काउंसिल एवं परिषद के पास होते हैं। नगर निगम प्रशासन को ५० लाख से अधिक के कार्यों की स्वीकृति प्रशासक से लेनी होगी। इसके अलावा शहर विकास के जिन कार्यों को एमआईसी की मंजूरी लेनी पड़ती थी, अब उनकी मंजूरी प्रशासन से लेनी होगी। परिषद के कार्य भी प्रशसक कर सकेंगे।
३३ साल पहले ८ साल तक रहे प्रशासक
33 साल पहले 2 अगस्त 198 7 से 4 जनवरी 1995 तक महापौर की कुर्सी खाली रही थी, यहां प्रशासक बैठे थे। इस बार ८ जनवरी को नगर सरकार का कार्यकाल खत्म हो रहा है। इसके बाद एक बार फिर नगर निगम में प्रशासक बैठेंगे। सरकार को छह माह में चुनाव कराना अनिवार्य है। जो कि 1994 के 73वें और 74वें संशोधित संविधान में है। इसके तहत छह माह प्रशासक निकाय का प्रभार संभालेंगे, ४८ पार्षदों का कार्यकाल भी खत्म हो जाएगा।

सभी पार्षदों को साथ लेकर काम किया। परिषद की बैठक में शहर के हित के कारण सभी समानित पार्षदों को किसी से भेदभाव नहीं किया। कांग्रेस के चार बार के पार्षद आरिफ बागवान, तीन बार के पार्षद मुन्ना भाईजागीरदार भरी परिषद में महापौर का समान फूल माला से करते हैं और कहते हैं महापौर ने हमारे साथ न्याय किया काम किया यह मेरी उपलब्धि है। जो काम चल रहे हैं, उसे अब जनता के साथ खड़े रहकर जल्द पूरा कराने का प्रयास करूंगा।
– अनिल भोसले, महापौर

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