यहां दान पेटी के पास ही स्वाइप मशीन लगा दिया गया है। मंदिर सूत्रों के अनुसार मंदिर व श्रद्धालुओं की मुश्किलें बढ़ती जा रही थी। श्रद्धालुओं ने कहा कि मंदिर में स्वाइप मशीन लगानी चाहिए। इसके बाद मंदिर प्रबंधन ने भी इसकी सहमति दे दी।
हालांकि, इस बात की कोई बंदिश नहीं है कि श्रद्धालु कितना दान करते हैं। बहरहाल, मंदिर व श्रद्धालुओं दोनों की परेशानी कम हो गई है। छोटे व्यापारी भी तैयारी में- इतना ही नही, भगवान पर चढ़ावे के लिए प्रसाद तक खरीदने के लिए स्वाइप मशीन का उपयोग किया जा रहा है।
इधर, मंदिर और प्रसाद की दुकानदारों को देखने के बाद आसपास के फूल-प्रसाद बेचनेवाले दुकानदार भी स्वाइप मशीन लगाने की तैयारी कर रहे हैं।