15 मर्इ तक मिला था वक्त
इस मामले की सुनवाई की अगली तारीख 12 जुलाई तय करते हुए पीठ ने कहा, “जहां तक संपत्ति की नीलामी का सवाल है तो वह जारी रहेगी, क्योंकि 750 करोड़ रुपये की रकम जमा नहीं करवाई गई है।” खंडपीठ ने 19 अप्रैल को कहा था कि समूह के पास अपनी संपत्ति को 15 मई तक बेचने का वक्त है। अगर वह ऐसा करने में नाकाम रहती है तो बम्बई उच्च न्यायालय के आधिकारिक लिक्विडेटर इसकी प्रस्तावित नीलामी की प्रक्रिया करेंगे। एंबी वैली संपत्ति 8,900 एकड़ क्षेत्र में फैला हुआ है और इसे टुकड़ों में बेचा जाएगा, क्योंकि पूरी संपत्ति का अभी तक कोई भी खरीदार नहीं मिला है।
2 जून को नीलामी
सर्वोच्च न्यायालय ने खासतौर पर सहारा को कहा था कि उसके पास आज तक (बुधवार) का समय कि वो खुद ही प्राॅपर्टी को बेच दे नहीं तो इसकी नीलामी कर दी जाएगी। आधिकारिक लिक्विडेटर ने अपनी रिपोर्ट में कहा था कि, उसने एंबी वैली के नीलामी प्रक्रिया की शरूआत कर दी है आैर इसके लिए बोली के लिए 21 मर्इ से 31 मर्इ का समय दिया गया है जिसके बाद 2 जून को नीलामी होगी। पिछले साल 23 नवंबर को, बाॅम्बे हार्इकोर्ट को दो जजों के ये छूट दी थी की वो प्राॅपर्टी के नीलामी की प्रक्रिया के शुरूअाती कर सकते हैं। इसके साथ ही लिक्विडेटर को भी निर्देश दिया था कि वो इसमें कोर्इ बाधा न डाले।
पेरोल पर जेल से बाहर हैं सुब्रत राॅय सहारा
सुब्रत राॅय, जो पिछले दो साल से जेल में है, 6 मर्इ से पेरोल पर है। इसके पहले उन्हें अपनी माता की मौत में अंतिम संस्कार के लिए पेरोल दिया गया था, जिसके बाद इसे आैर आगे बढ़ा दिया गया है। सुब्रत राॅय के अलावा, दाे अौर निदेशक- रवि शंकर दुबे आैर अशोक राॅय चौधरी को भी हिरासत में लिया गया था। ये दोनों सहारा इंडिया रियल एस्टेट काॅर्पोरेशन (SIRECL) आैर सहारा हाउसिंग इन्वेस्टमेंट काॅर्पारेशन लिमिटेड(SHICL) में निदेश के पद पर कार्यरत थे।