जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक पहुंचे तो घटना की भयावाहता देखकर दंग रह गए। एसपी संताष कुमार सिंह ने घटना स्थल से ही इलिया थानाध्यक्ष, मालदह हलका इंचार्ज व उनकी टीम और संबंधित यूपी 100 गाड़ी के सभी पुलिसकर्मियों को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया, जबकि चकिया थानाध्यक्ष लाइन हाजिर कर दिया। इसेक अलावा उन्होंने चकिया सीओ के खिलाफ डीजीपी को पत्र लिखने की बात कही। जिलाधिकारी ने भी लोगों के गुस्से को देखते हुए मृतक के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये की आर्थिक सहायता की घोषणा की। इसके अलावा परिजनों को आवास के लिये पट्टे की जमीन देने का भी ऐलान किया। इसके अलावा डीएम और एसपी ने ग्रामीणों को भरोसा दिलाया कि दोषी पुलिस वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
एक जनवरी मंगलवार की सुबह अभी अंधेरा भी नहीं छंटा था कि इलिया थानाक्षेत्र के मालदह गांव से होकर जाने वाली सड़क से एक तेज रफ्तार डीसीएम ट्रक बिहार की ओर जा रही थी। मालदह पुलिया के पास अचानक अनियंत्रित होकर प्रतिबंधित पशु लदा ट्रक सड़क के किनारे उतर गयी और बिजली का पोल तोड़ते ही वहां अस्थायी कच्चे मकान (मड़ई) को रौंदते हुए खेत में जा धंसा। घटना में मकान में सो रहे परिवार के आठ लोग कुचल गए, जिसमें से खलिहान में सो रहे परिवार का मुखिया कल्लू राम (65), सड़क किनारे मड़ई में सो रही पत्नीश्यामा देवी (60), पुत्र रामकिशुन (32) व पत्नी सुहागिन (28), निशा (10), गोलू (8), मुन्नी (6) व मोलू (4) की मौत हो गयी। छह लोगों की मौके पर ही मौत हो हुई, जबकि दो घायलों में से एक ने जिला अस्पताल में दम तोड़ दिया। कल्लू का छोटा बेटा मुनीब गुजरात में नौकरी करता है।
घटना की खबर आग की तरह फैल गयी और पूरे इलोक में कोहराम मच गया। सैकडों लोग घटनास्थल पर जमा होकर अपने गुस्से का इजहार करने लगे। खबर मिलने के बाद कई थानों की पुलिस व भारी फोर्स मौके पर पहुंच गयी पर लोगों के गुस्से को देखते हुए वह घटना स्थल तक नहीं जा सकी। बाद में चार घंटे बाद एडिशनल एसपी वहां पहुंचे तब जाकर पुलिस मौके पर पहुंची और घायलों को अस्पताल भिजवाया। नाराज लोगों ने पुलिस को शव लेने से भ रोकने की कोशिश की। उन लोगों का कहना था कि सूचना देने के बावजूद पशु तस्करों को पुलिस ने नहीं रोका। पुलिस की मिली-भगत से ही यूपी-बिहार बॉर्डर स्थित मालदह गांव से होकर पशु तस्करी का खेल चल रहा है। यही नहीं एसडीएम चकिया ने कुछ माह पहले यहां बैरिकेडिंग लगवाकर इस पर अंकुश लगाने की काशिश की थी, लेकिन उसे भी एसओ चकिया ने हटवा दिया। ग्रामीण मुआवजे की भी मांग कर रहे थे।
काफी देर बाद जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक सतोष कुमार सिंह भी मौके पर पहुंचे तो उनके सामने भी भीड़ ने अपने गुस्से का इजहार किया और पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की मांग की। एसपी ने मौके पर ही संबंधित पुलिसकर्मियों के खिलाफ एक्शन लिया। काफी मुश्किलों के बाद जाकर नाराज ग्रामीण माने तब शवों को पोस्टमार्टम के लिये भेजा जा सका।