पुलिस अधिकारियों को यह भी सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है कि आपातकालीन स्थिति को छोड़कर आवासीय क्षेत्रों में रात 10 बजे से सुबह 6 बजे के बीच साईलंस जोन में कोई हॉर्न नहीं बजाया जाएगा। इसके अतिरिक्त, यह भी सुनिश्चित करने के लिए निर्देशित किया गया है कि ध्वनि प्रदूषण से बचने के लिए पूरे राज्य में मोटरसाइकिलों पर साइलेंसर लगे हों। साथ ही, जश्न में फायरिंग व शराब, मादक पदार्थ और हिंसा को बढावा देने वाले गानों पर भी रोक लगाने के लिए कहा गया है।
उन्होने बताया कि न्यायालय के आदेशानुसार किसी को भी मेलों, धार्मिक जुलूस, विवाह समारोह और अन्य सार्वजनिक समारोह में या किसी भी शैक्षणिक संस्थान के परिसर के भीतर आग्नेयास्त्र ले जाने की अनुमति नहीं होगी। पुलिस ने नागरिकों से आग्रह किया कि वे कोर्ट के आदेशों की अनुपालना में रात 10 बजे से सुबह 6 बजे के बीच जन संबोधन प्रणाली के इस्तेमाल से बचें।