फीस वसूली वाले मूल मामले पर न्यायाधीश आनंद वेंकटेश ने बुधवार को सुनवाई की। स्कूल शिक्षा विभाग की उपसचिव के. जयललिता की ओर से पेश शपथपत्र में कहा गया कि अधिक फीस वसूली की १११ शिकायतें मिली हैं। इनमें ९७ आरोप साबित नहीं हुए। इनमें ९ निजी स्कूल ऐसे थे जिन्होंने हाईकोर्ट के आदेश की अवहेलना करते हुए १०० प्रतिशत फीस वसूल की।
शपथपत्र के आधार पर हाईकोर्ट ने स्वत: संज्ञान लेते हुए उन नौ स्कूलों के खिलाफ न्यायिक अवमानना की सुनवाई शुरू कर दी। जज ने इन सभी स्कूलों को कोर्ट की आज्ञा की अवहेलना करने का नोटिस जारी करते हुए जवाब मांगा है।
सीबीएसई को निर्देश
मद्रास हाईकोर्ट ने सीबीएसई को निर्देश दिए है कि बच्चों के भविष्य को देखते हुए अभिभावक स्कूल प्रबंधन की ज्यादती के खिलाफ शिकायत देने से कतराते हैं। लिहाजा इसके लिए अलग से ईमेल आइडी बनाकर उसका पर्याप्त प्रचार किया जाए। इस तरह प्राप्त शिकायतों का विवरण शपथपत्र के रूप में १४ अक्टूबर को हाईकोर्ट में पेश किया जाए। न्यायालय ने निजी स्कूलों की फीस वसूली की अवधि को आगे बढ़ाने की अर्जी को ठुकरा दिया। यह अवधि ३० सितम्बर को समाप्त हो रही है।