ऐसे ही फुटपाथों में शामिल है एनएससी बोस रोड और ईविनिंग बाजार रोड का फुटपाथ जहां पुलिसिया कार्रवाई तो कई बार हुई, अतिक्रमण फुटपाथ से हटाया भी गया लेकिन कुछ दिन बाद अतिक्रमी फिर उसी जगह अपना अड्डा जमा बैठे।
बताते चलें कि विगत मंगलवार को मद्रास हाईकोर्ट में याचिका की सुनवाई के बाद इन दोनों फुटपाथों से अतिक्रमण हटाने का निर्देश दिया था। कोर्ट के निर्देशानुसार एनएससी बोस रोड और ईवनिंग बाजार रोड के फुटपाथों पर कब्जा जमाए दुकानदारों पर कार्रवाई कर उनको हटा दिया गया था। लेकिन शनिवार को ही अतिक्रमियों ने फिर से वहीां दुकान लगा ली।
राहगीरों का कहना है कि अतिक्रमण का मूल कारण है इन बाजारों में जगह की कमी होना। न इनमें रोजगार के लिए जगह है और न ही वाहन पार्किंग के लिए। एनएससी बोस रोड पर बड़ी संख्या में व्यावसायिक प्रतिष्ठान हैं, इसमें जितनी गलियां हैं यहां उतनी अधिक बिक्री होती है, जबकि इस इलाके में वाहन पार्किंग की कोई माकूल जगह नहीं मिलती है। ऐसे में लोग यहां के फुटपाथ को पार्किंग के रूप मे इस्तेमाल करते रहे हैं।
एनएससी बोस रोड पर स्टेशनरी की दुकान चला रहे चांदबाशा के अनुसार यहां के फुटपाथ पर अस्थायी दुकानदारों का कब्जा दशकों से है। कार्रवाई तो कई बार हुई, अस्थायी दुकानदारों को यहां से हटाया भी गया लेकिन राजनीतिक दखलंदाजी के सामने पुलिस असहाय होकर रह जाती है। स्थानीय स्तर पर राजनीति कर रहे सभी पार्टियों के कार्यकर्ता अपने वोट बैंक के कारण इन लोगों को बेरोजगार होने देना नहीं चाहते क्योंकि इन फुटपाथी दुकानदारों की रोजी रोटी इसी से चलता है।