चेन्नई

मनुष्य का परम लक्ष्य मोक्ष प्राप्ति

जयधुरंधरमुनि ने कहा अपने हर कर्म का हिसाब अवश्य किसी भी भव में देना ही होता है

चेन्नईMar 24, 2019 / 06:15 pm

Santosh Tiwari

मनुष्य का परम लक्ष्य मोक्ष प्राप्ति

चेन्नई. टी.नगर में बर्किट रोड स्थित माम्बलम जैन स्थानक में विराजित जयधुरंधरमुनि ने कहा मनुष्य के जीवन में एक लक्ष्य अत्यावश्यक है। जिस प्रकार एक व्यवसायी अपना व्यवसाय शुरू करते समय उसमें सफलता का लक्ष्य रखता है तो उसमें सफलता अवश्य मिलती है। ढुलमुल नीति वाली टीम सफलता प्राप्त नहीं कर सकती। उसी प्रकार व्यापार की शुरुआत में संदेह में घिरे व्यक्ति को सफलता कभी नहीं मिल सकती।

मानव का परम लक्ष्य मोक्षप्राप्ति होता है उसे किसी न किसी भव में मोक्ष मिल ही जाती है। बबूल का पेड़ बोने वाला आम कभी नहीं पा सकता। अपने हर कर्म का हिसाब अवश्य किसी भी भव में देना ही होता है। कर्म बांधना सरल लेकिन उनका फल भोगना अत्यंत मुश्किल है। कहावत है कर्मों को किसी भी प्रकार की शर्म नहीं होती। मुनि ने कर्मों के खेल से संबद्ध रानी कमलावती व महाराजा शंख के जीवनाधारित कथानक शुरू किया। जयकलश मुनि ने गीतिका प्रस्तुत की। संचालन मंत्री महेंद्र गादिया ने किया। संघ उपाध्यक्ष डा. उत्तमचंद गोठी ने बताया रविवार का प्रवचन भी यहीं होगा।

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