सहकारी दुकानों पर स्टॉक खत्म, निजी दुकानों पर दुगुनी कीमत पर बेचा जा रहा यूरिया
यूरिया के साथ कीटनाशक खरीदने की मजबूरी
यूरिया की किल्लत
चेन्नई
Published: June 17, 2022 11:54:19 pm
तिरुवन्नामलै. तिरुवन्नामलै जिले के कलासपाक्कम के पास इलाथुर गाँव में किसानों ने यूरिया की कमी को उजागर किया। सूत्रों ने खुलासा किया कि हाल ही में हुई बारिश के कारण सिंचाई की टंकियों में पानी भरने के बावजूद कम आपूर्ति से खेती के संचालन पर असर पड़ने की संभावना है। किसानों ने कहा कि पिछले 10 दिनों में सहकारी दुकानों के पास स्टॉक नहीं होने की जानकारी मिली है। इससे किल्लत बहुत अधिक बढ़ गई है। उन्होंने पूछा, फिर यह कैसे हो गया कि अकेले निजी दुकानें ही यूरिया को ऊंचे दामों पर बेच पा रही हैं।
किसान इस बात से नाराज थे कि 45 किलो का यूरिया बैग जिसकी कीमत लगभग 267 रुपए थी, निजी दुकानों पर दोगुने से अधिक कीमत पर बेचा गया। सीपीएम के किसान नेता एस. बलरामन ने कहा, हालांकि हमने कृषि अधिकारियों से शिकायत की, लेकिन आज तक किसी भी अधिकारी ने कलासपाक्कम इलाके की किसी भी दुकान में पूछताछ नहीं की। उन्होंने कहा कि निजी दुकानें मिश्रित उर्वरक बेचती हैं जिसमें 80 प्रतिशत यूरिया, 10 प्रतिशत रेत और उर्वरक 1,350 रुपए प्रति बोरी तक होता है।
यूरिया 350 रुपए प्रति बोरी
तमिलनाडु विवासायगल संगम युवा विंग के महासचिव आर सुभाष ने कहा, हम रानीपेट जिले में भी इसी तरह के मुद्दों का सामना कर रहे हैं। यहां यूरिया 350 रुपए प्रति बोरी में इस शर्त के साथ बिकता है कि यूरिया लेने के लिए किसानों को कुछ कीटनाशक खरीदना होगा जिसकी उन्हें जरूरत नहीं है।
तीन फसलों के लिए भरपूर पानी लेकिन फायदा नहीं मिल रहा
बलरामन ने कहा, हालांकि किसानों ने एक सप्ताह पहले तिरुवन्नामलै कृषि कार्यालय में धरना दिया और कार्रवाई का वादा किया गया। यूरिया की कमी से जिले में कलासपाक्कम, थुरिंजापुरम और पुदुपलायम क्षेत्रों में खेती प्रभावित हो सकती है। पुदुपलायम के रामलिंगम ने कहा, हमारे पास तीन फसलें उगाने के लिए पर्याप्त पानी है, लेकिन अगर हमें पर्याप्त यूरिया नहीं मिलता है तो इससे कोई फायदा नहीं होगा।

Lack of urea could affect farming
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