गोविंदराज बेरोजगार है और आदतन शराबी है। उनकी बड़ी बेटी नंदिनी ग्यारहवीं कक्षा की छात्रा थी जबकि उनकी तीसरी बेटी धीना छठी कक्षा की छात्रा थी। उनकी सबसे छोटी बेटी दीपा चौथी कक्षा में पढ़ रही थी। उसकी पत्नी कचरा पृथक्करण इकाई में कार्यरत हैं। शराब पीने को लेकर गोविंदराज का उसकी बेटियों से अक्सर झगड़ा होता रहता था। 14 मई को भी उनके बीच झगड़ा हुआ और एक बेटी नदिया (14) ने खुद को आग लगा ली और उसकी मौत हो गई।
शुक्रवार को जब नंदिनी और दीपा शाम को स्कूल से घर पहुंचे तो देखा कि उनके पिता शराब पी रहे हैं। उसे पीते देख हताश हो गए और उन्होंने उसे अपना स्वास्थ्य खराब न करने के लिए कहा और उसे डांटने लगे। गुस्से में आकर उस व्यक्ति ने घर से एक ल_ा निकाला और दोनों की पिटाई कर दी। उनके सिर और सीने में चोटें आई और उनकी मौत हो गई।
मामले की जांच कर रहे अधिकारी ने कहा, उनकी हत्या करने के बाद उसने घर में ताला लगा दिया और शराब पीना जारी रखा। शाम चार बजे उनकी तीसरी बेटी स्कूल से घर लौटी। उसने घर को अंदर से बंद पाया। चूंकि बार-बार दस्तक देने से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली, उसने अपनी दादी अंबिका और पड़ोसी गोपाल को सतर्क कर दिया। उन्होंने दरवाजा तोडऩे का प्रयास किया, लेकिन वह आदमी दरवाजा खोलकर भाग गया। सूचना मिलते ही ओरगडम पुलिस मौके पर पहुंच गई। उन्होंने शवों को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया। बाद में उन्होंने गोविंदराजन को गिरफ्तार कर लिया।