अब बेटियों को बराबरी का मौका
लैंगिक असमानता के आधार पर लड़कियों को एनडीए की परीक्षा से वंचित करना समानता के मौलिक अधिकार का उल्लंघन है। मुझे खुशी है अब बेटियों को बराबरी का मौका मिलेगा। एनडीए की प्रवेश प्रक्रिया में लड़के-लड़कियों के लिए भर्ती से ट्रेनिंग शेड्यूल तक समान स्टैंडर्ड होना चाहिए। लड़कियों के लिए आरक्षण नहीं, प्रवेश मेरिट पर होना चाहिए।
– एडवोकेट शीला भंडारी, वरिष्ठ लोक अभियोजक, मद्रास उच्च न्यायालय।
लैंगिक असमानता के आधार पर लड़कियों को एनडीए की परीक्षा से वंचित करना समानता के मौलिक अधिकार का उल्लंघन है। मुझे खुशी है अब बेटियों को बराबरी का मौका मिलेगा। एनडीए की प्रवेश प्रक्रिया में लड़के-लड़कियों के लिए भर्ती से ट्रेनिंग शेड्यूल तक समान स्टैंडर्ड होना चाहिए। लड़कियों के लिए आरक्षण नहीं, प्रवेश मेरिट पर होना चाहिए।
– एडवोकेट शीला भंडारी, वरिष्ठ लोक अभियोजक, मद्रास उच्च न्यायालय।