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दो समुदायों के बीच संघर्ष को टालने के लिए ताले में बंद हुए भगवान, प्रशासन ने मंदिर सील किया

locationचेन्नईPublished: Jun 07, 2023 03:44:23 pm

Submitted by:

PURUSHOTTAM REDDY

मंदिर को सील कर गेट पर एक नोटिस भी चिपकाया गया है।

दो समुदायों के बीच संघर्ष को टालने के लिए ताले में बंद हुए भगवान, प्रशासन ने मंदिर सील किया

दो समुदायों के बीच संघर्ष को टालने के लिए ताले में बंद हुए भगवान, प्रशासन ने मंदिर सील किया

विल्लुपुरम/चेन्नई.

विलुप्पुरम जिला के मेलपाथी गांव में धर्मराज द्रौपदी अम्मन मंदिर में प्रवेश को लेकर ऊंची जाति और दलितों के बीच विवाद से तनाव की स्थिति बन गई है। इस विवाद के सामने आने के बाद विल्लुपुरम जिला राजस्व आयुक्त रविचंद्रन ने बुधवार अलसुबह मंदिर को सील कर दिया है। मंदिर को सील कर गेट पर एक नोटिस भी चिपकाया गया है।

विल्लुपुरम में एहतियातन एक हिंदू मंदिर को सील कर दिया। दो समुदायों के बीच अस्पृश्यता को लेकर बढ़े विवादों के बाद यह कदम उठाया गया। विल्लुपुरम जिला राजस्व आयुक्त रविचंद्रन ने बुधवार को मेलपाथी गांव में धर्मराज द्रौपदी अम्मन मंदिर में प्रवेश पर रोक लगा दी। उन्होंने प्रमुख जाति के सदस्यों और दलितों के बीच विवाद को लेकर मंदिर को सील करने का आदेश दिया। मंदिर के गेट पर चिपकाए गए एक आधिकारिक नोटिस में लिखा, पूजा को लेकर दो वर्गों के बीच की विवादों के कारण गांव में असाधारण स्थिति बनी हुई है।

इससे कानून और व्यवस्था बिगडऩे की आशंक है। इस पर विचार करते हुए एक निष्कर्ष प्राप्त होने तक मंदिर के अंदर दोनों वर्गों को जाने की अनुमति नहीं है। इससे पहले, विल्लुपुरम के सांसद रविकुमार के नेतृत्व में एक सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल ने सोमवार को विल्लुपुरम के कलक्टर सी.पलनी से मुलाकात की और एक ज्ञापन सौंपकर मांग की कि बिना किसी जातिगत भेदभाव के सभी भक्तों को मरक्कानम में द्रौपदी अम्मन मंदिर के अंदर जाने की अनुमति दी जाए। संसद सदस्य डी रविकुमार ने जिला प्रशासन से हस्तक्षेप करने और यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया कि बिना किसी जातिगत भेदभाव के सभी भक्तों को मंदिर के अंदर जाने की अनुमति दी जाए। उन्होंने कहा कि प्रशासन को उन लोगों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए जो आदि द्रविड़ों को मंदिर में प्रवेश करने से रोकते हैै।

यह था मामला
पिछले साल भी तंजावुर जिले में अस्पृश्यता का मामला सामने आया था। इस मामले में नाई की दुकान के मालिक को गिरफ्तार किया था। किलामंगलम नाई ने गांव में अनुसूचित जाति के लोगों के बाल काटने से इनकार कर दिया था। उसके खिलाफ अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम के प्रावधानों के तहत गिरफ्तार किया गया था।

 
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