उन्होंने कहा कि उनके नेतृत्व वाली सरकार के पास पर्याप्त बहुमत और लोगों का समर्थन है। सरकार राज्य की पूर्व मुख्यमंत्री स्व.जे.जयललिता द्वारा छोड़े गए कार्यों को लगन के साथ आगे ले जाने की ओर कार्य कर रही है। जो भी अम्मा ने सोचा था उन सब चीजों को सरकार द्वारा शुरू कराया जा रहा है।
34170 लोगों को 275 करोड़ की सहायता राशि
किला मैदान में शनिवार को तमिलनाडु के पूर्व मुख्यमंत्री भारत रत्न डॉ.एम.जी.रामचंद्रन का जन्मशती समारोह आयोजित किया गया। इस मौके पर मुख्यमंत्री एडपाड़ी पलनीस्वामी ने दीप प्रज्वलित कर समारोह का उद्घाटन किया। समारोह में मुख्यमंत्री ने जन कल्याणकारी योजनाओं के तहत 34,170 लोगों को 275 करोड़ रुपए की सहायता राशि प्रदान की। जिले में बंद हुए विकास कार्यों को फिर से शुरु करवाने के लिए 66 करोड़ रुपए एवं 12.60 करोड़ रुपए के नए विकास कार्यों की आधारशिला रखी। समारोह में उप-मुख्यमंत्री ओ.पन्नीरसेल्वम, वाणिज्यिक कर मंत्री के. सी. वीरमणि, मंत्री निलोफर कबील, तमिलनाडु विधानसभा अध्यक्ष पी. धनपाल, लोकसभा उपाध्यक्ष तम्बीदुरै सहित कई विधायक मौजूद थे।
प्रदर्शन के सौवें दिन राज्विभिन्न मांगों को लेकर नई दिल्ली में दे रहे हैं धरना
चेन्नई/नई दिल्ली. तमिलनाडु के किसानों द्वारा नई दिल्ली में दूसरी बार शुरू हुए प्रदर्शन के ५६ दिन पूरे होने के बाद भी अभी तक केंद्र और राज्य सरकार की ओर से उनकी मांगों को लेकर कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। जिसके बाद किसानों ने प्रदर्शन के १००वें दिन पर नग्न प्रदर्शन करने का फैसला लिया है।
शनिवार को संवाददाताओं से वार्ता में किसानों के नेता अय्याकन्नू ने कहा कि काफी लंबे समय से नई दिल्ली में प्रदर्शन किया जा रहा है, पर सरकार द्वारा किसी प्रकार की कार्रवाई नहीं हो रही है, बल्कि हम लोगों को *****ी हालत में छोड़ दिया गया है।
लेकिन फिर भी खुद को बचाने के लिए प्रदर्शन को जारी रखा है। ऐसे में अगर हमारी मांगों को पूरा नहीं किया गया तो प्रदर्शन के १००वें दिन नग्न प्रदर्शन किया जाएगा। जब तक मांगों को पूरा नहीं किया जाता तब तक प्रदर्शन जारी रखा जाएगा। उन्होंने कहा कि ऋण माफी को लेकर सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका भी लगाई गई है।
गौरतलब है कि राज्य के मुख्यमंत्री एडपाड़ी के.पलनीस्वामी से मुलाकात के बाद मिले आश्वासन को ध्यान में रखते हुए गत २३ अप्रैल को किसान प्रदर्शन पर विराम लगा कर तमिलनाडु आ गए थे।
साथ ही उन लोगों ने कहा था कि अगर उनकी मांगों को पूरा नहीं किया जाता तो फिर से २५ मई को प्रदर्शन शुरू करेंगे। वास्तव में जब उनकी मांगों पर किसी प्रकार की कार्रवाई नहीं हुई तो उन लोगों ने फिर से प्रदर्शन शुरू कर दिया। गौरतलब है कि किसानों द्वारा देश भर की नदियों को जोडऩे, ऋण माफी, कावेरी प्रबंधन बोर्ड के गठन सहित कई अन्य मांगें की जा रही है।