तिरुचि पुलिस आयुक्त जी. कार्तिकेयन, एसपी सुजीत कुमार और अन्य अधिकारियों ने रविवार को घटनास्थल का दौरा किया। एक अन्य विशेष निरीक्षक शेखर की शिकायत के आधार पर भारतीय दंड संहिता की धारा 302 (हत्या की सजा) के तहत मामला दर्ज किया गया। आरोपियों को पकडऩे के लिए चार विशेष टीमों का गठन किया गया। पुलिस ने सोमवार सुबह गिरोह को गिरफ्तार करने से पहले तिरुचि, शिवगंगा और पुदुकोट्टै जिलों में तलाशी अभियान चलाया। पुलिस को संदेह है कि मामले में और भी आरोपी हो सकते है क्योंकि इन इलाकों में बकरी चोरी के कई मामले आते है।
यह है पूरा मामला
भूूमिनाथन (56) नवलपट्टू थाने में सब इंस्पेक्टर के पद पर कार्यरत थे। तभी भूूमिनाथन ने नवलपट्टू मुख्य मार्ग पर तीन दुपहिया वाहनों में बकरियों के साथ आए एक गिरोह को रोकने की कोशिश की। भूमिनाथन ने संदिग्धों से पूछताछ करना शुरू किया तो वे भागने लगे।
उन्हें शक हुआ कि संदिग्ध आसपास के बकरियों की चोरी करने वाले गिरोह हैं, फिर एसआई भूमिनाथन ने अपने बाइक से उनका पीछा करना शुरू कर दिया। यह गिरोह तिरुचि-पुदुकोट्टै मुख्य मार्ग पर कलामवूर रेलवे गेट के पास पल्लथुपट्टी गांव में पहुंचा। उसी समय भूमिनाथन ने बाइक रोका और दो संदिग्धों को दबोच लिया। इसके बाद गिरोह के अन्य सदस्य उनके पास लौट कर आए और हंगामा करने लगे।
भूूमिनाथन ने उन्हें छोडऩे से इनकार कर दिया, तो उत्तेजित गिरोह के सदस्यों ने उनपर चाकू से हमला कर दिया। इस हमले में भूमिनाथन गंभीर रूप से घायल हो गए और उनकी मौके पर ही मौत हो गई। वारदात को अंजाम देने के बाद गिरोह के सदस्य वहां से फरार हो गए।