प्लांट से होगी सीधी सप्लाई
इंजीनियर अंशुल खरे ने बताया कि प्लांट से हर मिनट 300 लीटर ऑक्सीजन का उत्पादन होगा, जो सीधे कोविड आईसीयू और जिला अस्पताल के नए भवन में सप्लाई की जाएगी। बेस बनाने का काम शुरु किया गया है। 50 वर्ग मीटर में इसके लिए कांक्रीट का बेस तैयार किया जा रहा है। जहां प्लांट की मशीनरी स्थापित की जाएगी। 10 दिन में बेस तैयार किया जाना है, इसके बाद अनुबंधित कंपनी द्वारा प्लांट स्थापित किया जाएगा। 40 दिन में उत्पादन शुरु करने का लक्ष्य रखकर काम किया जा रहा है।
इंजीनियर अंशुल खरे ने बताया कि प्लांट से हर मिनट 300 लीटर ऑक्सीजन का उत्पादन होगा, जो सीधे कोविड आईसीयू और जिला अस्पताल के नए भवन में सप्लाई की जाएगी। बेस बनाने का काम शुरु किया गया है। 50 वर्ग मीटर में इसके लिए कांक्रीट का बेस तैयार किया जा रहा है। जहां प्लांट की मशीनरी स्थापित की जाएगी। 10 दिन में बेस तैयार किया जाना है, इसके बाद अनुबंधित कंपनी द्वारा प्लांट स्थापित किया जाएगा। 40 दिन में उत्पादन शुरु करने का लक्ष्य रखकर काम किया जा रहा है।
बढ़ गई है ऑक्सीजन की खपत
जिला अस्पताल के कोविड आइसीयू में गंभीर मरीजों को भर्ती कराया गया है। जिन्हें ऑक्सीजन की जरूरत है। कोविड के मरीजों की बढ़ती संख्या के चलते ऑक्सीजन की खपत 50-60 सिलेंडर से बढ़कर 150 सिलेंडर रोजाना हो गई है। ऐसे में ऑक्सीजन सप्लाई की किल्लत को देखते हुए जिला अस्पताल में ऑक्सीजन प्लांट लगाए जाने से कोविड व अन्य मरीजों को ऑक्सीजन के लिए परेशानी नहीं होगी। बाहर से सप्लाई के भरोसे नहीं रहना होगा।
जिला अस्पताल के कोविड आइसीयू में गंभीर मरीजों को भर्ती कराया गया है। जिन्हें ऑक्सीजन की जरूरत है। कोविड के मरीजों की बढ़ती संख्या के चलते ऑक्सीजन की खपत 50-60 सिलेंडर से बढ़कर 150 सिलेंडर रोजाना हो गई है। ऐसे में ऑक्सीजन सप्लाई की किल्लत को देखते हुए जिला अस्पताल में ऑक्सीजन प्लांट लगाए जाने से कोविड व अन्य मरीजों को ऑक्सीजन के लिए परेशानी नहीं होगी। बाहर से सप्लाई के भरोसे नहीं रहना होगा।