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Lockdown: मई में पानी मिलने पर संशय, तरसेगा आधा शहर

locationछिंदवाड़ाPublished: Apr 09, 2020 05:01:04 pm

Submitted by:

prabha shankar

Lockdown: मार्च से काम बंद होने से डिस्ट्रीब्यूशन लाइन और पानी टंकी का काम लटका

Lockdown: Doubt on receiving water in May, half of the city will suffe

Lockdown: Doubt on receiving water in May, half of the city will suffe

छिंदवाड़ा/ कोरोना लॉकडाउन से ग्रामीण वार्डों को गर्मी में पेयजल उपलब्ध कराने का लक्ष्य लेकर किया जा रहा प्रोजेक्ट अमृतम का काम पिछड़ गया है। फरवरी में धरमटेकड़ी फिल्टर प्लांट में माचागोरा डैम का पानी पहुंचाने के बाद नगर निगम के अधिकारी पहले चरण में आठ गांवों की प्यास बुझाने उत्साहित थे। प्रोजेक्ट प्रभावित होने से अब मई में भी गांवों में पानी पहुंचाने पर संशय बना हुआ है।
निगम के अनुसार करीब 75 करोड़ रुपए की इस परियोजना में अब तक अजनिया में सम्पवेल तथा धरमटेकड़ी में 22.5 एमएलडी क्षमता का फिल्टर प्लांट बनाया गया।
इस दौरान बीती 22 फरवरी को धरमटेकड़ी फिल्टर प्लांट को खापाभाट तक आई माचागोरा बांध की मेन पाइपलाइन से जोड़ दिया गया। नगर निगम के इंजीनियरों ने बिना किसी लीकेज के इस लाइन से पानी की टेस्टिंग फिल्टर प्लांट तक पूरी की। धरमटेकड़ी तक पानी आ जाने से बाद निगम क्षेत्र के 24 गांवों में पानी वितरण सिस्टम के जरिए पहुंचाना शेष रह गया है। इनमें ग्रामीण इलाकों में 18 पेयजल टंकियां और 63 किमी एरिया में ड्रिस्टीब्यूशन पेयजल लाइन का निर्माण प्रगतिरत था।

पहले आठ गांवों में 30 मार्च का था लक्ष्य
इस प्रोजेक्ट के पहले चरण में आठ गांवों में पेयजल पहुंचाने का लक्ष्य 30 मार्च तक निर्धारित किया गया था। इन गांवों में खापाभाट, कुसमैली, सिवनी प्राणमोती, अजनिया, सोनाखार,इ मलिया बोहता और सारसवाड़ा प्रमुख थे। इसके अलावा शहर की दो पेयजल टंकी ऊंटखाना और नोनिया करबल को भी जोडऩे की तैयारी की गई थी। उसके
बाद दो माह में 16 गांवों में पानी पहुंचाने की बात कही गई थी। मार्च में यह प्रोजेक्ट आगे बढ़ता, इससे पहले ही प्रदेश की राजनीतिक अस्थिरता और उसके बाद लॉकडाउन से सारे काम प्रभावित हो गए।

नहीं आ पाए वॉल्व-पाइप, मजदूरों ने भी साथ छोड़ा
प्रोजेक्ट से जुड़े इंजीनियर बताते हैं कि ग्रामीण वार्डों में बिछाई जा रही डिस्ट्रीब्यूशन पाइपलाइन, पेयजल टंकी के वॉल्व और पाइप महाराष्ट्र के नागपुर, अमरावती समेत अन्य शहरों से आने थे। लॉकडाउन से इनका परिवहन पूरी तरह बंद हो गया है। इसके साथ ही इस काम में दक्ष प्रवासी मजदूर भी अपने गांव लौट गए हैं। इस स्थिति से प्रोजेक्ट दो माह लेट हो गया है। लॉकडाउन खुलने की सामान्य स्थिति आ जाए, फिर भी इस प्रोजेक्ट को पुन: रफ्तार देने में एक माह का समय लगेगा।

माचागोरा बांध का पानी धरमटेकड़ी फिल्टर प्लांट तक पहुंचाने के बाद हमारा फोकस पेयजल टंकी और गांवों की डिस्ट्रीब्यूशन लाइन पर था। कोरोना लॉकडाउन से प्रोजेक्ट काफी प्रभावित हुआ है। लॉकडाउन खुलने के बाद हम तेजी से उसे पूरा करने का प्रयास करेंगे।
– ईश्वर सिंह चंदेली, कार्यपालन यंत्री, नगर निगम

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