scriptलोकसभा चुनाव 2019: प्रत्याशियों का भाग्य बदलने में युवा मतदाताओं की रहेगी अहम भूमिका | Lok Sabha Elections 2019 Young voters Key role | Patrika News

लोकसभा चुनाव 2019: प्रत्याशियों का भाग्य बदलने में युवा मतदाताओं की रहेगी अहम भूमिका

locationचित्रकूटPublished: Mar 11, 2019 12:32:28 pm

लोकसभा चुनाव 2019 का बिगुल बजते ही चुनावी पंडितों के पंचांगों पर गुणा गणित का खेल शुरू हो गया है. कुल मतदाताओं में कितनों की भूमिका महत्वपूर्ण होगी किसी भी प्रत्याशी का भाग्य बदलने में ये भी लगभग साफ हो चुका है

election

लोकसभा चुनाव 2019: प्रत्याशियों का भाग्य बदलने में युवा मतदाताओं की रहेगी अहम भूमिका

चित्रकूट: लोकसभा चुनाव 2019 का बिगुल बजते ही चुनावी पंडितों के पंचांगों पर गुणा गणित का खेल शुरू हो गया है. कुल मतदाताओं में कितनों की भूमिका महत्वपूर्ण होगी किसी भी प्रत्याशी का भाग्य बदलने में ये भी लगभग साफ हो चुका है. मोटे तौर पर सांसद की कुर्सी का निर्धारण इस बार चित्रकूट-बांदा संसदीय क्षेत्र के युवा मतदाताओं पर खासा निर्भर रहेगा. इस लोकसभा क्षेत्र में इस बार कुल 19,96,599 मतदाताओं में लगभग 8,29,149 युवा मतदाता जुड़े हैं जो लोकतंत्र के महापर्व में अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे. विभिन्न पार्टियों के रणनीतिकारों को भी यह आभास हो चुका है कि युवाओं की अहम भूमिका होगी सो उन्हें सतरंगी सपने दिखाने में शायद ही कोई पार्टी कोर कसर छोड़े.
18 से 19 साल की उम्र वाले युवा मतदाताओं की संख्या बढ़ी


संसदीय क्षेत्र में 18 से 19 साल की उम्र वाले युवा मतदाताओं की संख्या में अभी तक खासी बढोत्तरी हो चुकी है. आंकड़ों पर नज़र डालें तो इस उम्र(18 से 19) वाले मतदाताओं की संख्या लगभग 44 हजार से ज्यादा है. यानी कुल आबादी का लगभग 3 फीसदी मतदाता 18 से 19 साल के बीच का है. इसी प्रकार 20 से 29 साल की उम्र वाले लगभग 16 फीसदी मतदाता हैं. इन युवा मतदाताओं की कुदृष्टि किसी पर भी भारी पड़ सकती है.

संसदीय क्षेत्र में मतदाताओं की स्थिति

चित्रकूट-बांदा लोकसभा क्षेत्र में कुल मतदाता: 19,96,599

पुरुष मतदाता: 10,89,269

महिला मतदाता: 9,07221

युवा मतदाता: 8,29,149


यानी इस आंकड़े के हिंसाब से भी युवा मतदाता प्रत्याशियों को चुनावी वैतरणी पार कराने में अहम भूमिका निभाएंगे. दो जनपदों(चित्रकूट-बांदा) से मिलकर बना यह संसदीय क्षेत्र हमेशा से अपने जातीय समीकरण के चलते चुनाव में उलटफेर के लिए जाना जाता रहा है. यहां तक कि सन 2014 के लोकसभा चुनाव में जब मोदी लहर कही जा रही थी उस समय भी चित्रकूट-बांदा लोकसभा क्षेत्र में जातीय समीकरण ही हावी था. 2014 के लोकसभा चुनाव में भैरव प्रसाद मिश्रा को भाजपा से टिकट मिला था और उन्होंने जीत का स्वाद चखा.
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो