सादुलपुर. राजस्थान की आन-बान-शान सांस्कृतिक तथा परम्परागत संस्कारों और संस्कृति को विरासत में संजोकर मनाया जाने वाला पर्व गणगौर के लोकगीतों की गूंज गली-गली में सुनाई देने लगी हैै।
चूरू. गणगौर पूजन को लेकर महिलाओं में खासा उत्साह है। परम्परागत रूप से महिलाएं जिले में राजपूती पहनावे के साथ गणगौर का पूजन करतीं देखी जा रही हैं। महिलाएं व युवतियों ने व्रत भी किया।
गणगौर बंदोरी सिंदारा का आयोजन रतनगढ़. शहर में महिलाओं व किशोरियों द्वारा गणगौर का पर्व आस्था भक्ति भाव से मनाया जा रहा है। गणगौर की धूम प्रात: गणगौर पूजन से शुरू होती है जो साय बनोरा व रात्रि में लोकगीतों के दौर से जारी रहती है। रिणी कुएं के पास मोहल्ले की महिलाओं द्वारा सामूहिक गणगौर बनोरा व सिंदारा का आयोजन आस्था व भक्ति भाव से किया गया ।इस अवसर पर डॉ. माधुरी शर्मा ने बताया कि गणगौर पर्व महिलाओं के लिए अखंड सौभाग्य प्राप्ति का पर्व है एवं विवाह योग्य किशोरियां मनपसंद भावी जीवनसाथी को पाने के लिए गणगौर पूजन करती है। पारंपरिक परिवेश में महिलाओं युवतियों ने गणगौर गीतों का आनंद लिया। गीतों की प्रस्तुति से सभी को भाव विभोर किया।
रतनगढ़. शहर में महिलाओं व किशोरियों द्वारा गणगौर का पर्व आस्था भक्ति भाव से मनाया जा रहा है। गणगौर की धूम प्रात: गणगौर पूजन से शुरू होती है जो साय बनोरा व रात्रि में लोकगीतों के दौर से जारी रहती है।
माहेश्वरी महिला मण्डल ने मनाया गणगौर उत्सव सरदारशहर. माहेश्वरी महिला मंडल की ओर से माहेश्वर भवन में गणगौर महोत्सव मनाया गया। इस मौके पर सांस्कृतिक कार्यक्रम का आगाज वीणा सोमानी, सरोज डागा, प्रेरणा लखोटिया, दीप्ति बजाज ने भगवान शिव की प्रतिमा के समक्ष दीप प्रज्ज्वलित कर किया। इस अवसर पर सामूहिक युगल एवं एकल नृत्य सहित सास बहू का हास्य नाटक और खेल भी खिलाए गए। गणगौर त्यौहार पर सोलह श्रृंगार की हुई सजी-धजी बहुओं के लिए अनोखी प्रतियोगिता रखी गई। जिसे गीत के माध्यम से पिंकी करनाणी व सुनीता लखोटिया द्वारा दर्शकों का मन मोह लिया। सभी प्रतियोगियों को पुरस्कृत किया गया। इस अवसर पर बड़ी संख्या में समाज की महिलाएं एवं युवतियों ने भाग लिया। संचालन राजकुमारी लखोटिया ने किया।
गणगौर का भरा मायरा सुजानगढ़. श्याम दरबार में रविवार रात को गणगौर माता का मायरा भरा गया। सुजानगढ़ श्याम सखी मंडल की ओर से आयोजित गणगौर का मायरा धूमधाम से भरा गया। इस मौके पर कान्ता, आशा, पूनम, सिद्धी, सुमन, शीतल, राधिका, नेहा, लालू, कोमल ने गणगौर का बनोरा निकालकर मायरा भरा ओर डीजे पर नाचकर खूब आनन्द लिया।
सरदारशहर में निकाले गए बनौरा में भाग लेती महिलाएं
चूरू. गणगौर पूजन करने वाली महिलाएं व युवतियां सुबह सामूहिक रूप से ÓÓखेड़े खांडे लाडू लायो, लाडू बिराएं दियो, बीरो गुट कयगो, चूनडु उड़ायगो, चूनड़ म्हारी अब-छब, बीरो म्हारो अमर... रानियां पूजे राज में, मैं म्हाका सुहाग में..., जैसे मंगल गीत गाते हुए हरी घास व फूल लेकर आती है। गणगौर माता को दूध व जल से स्नान कराकर पूजन करती है। गीत गाकर उन्हें खूब रिझाती है।
गणगौर पर्व को लेकर हल्दी की रस्म िनभाई छापर. गणगौर का त्योहार ज्यों ज्यों नजदीक आ रहा है वैसे ही महिलाओं में जबरदस्त उत्साह देखने को मिल रहा है। इससे पहले हर दिन एक रस्म रिवाज़ के साथ शादी की रस्म अदा की जा रही है। इस क्रम में सोमवार को ग्राम आबसर के विश्कर्मा भवन में महिलाओं व युवतियों ने गणगौर की हल्दी की रस्म निभाई। इस दौरान महिलाओं ने सज धज कर पीले वस्त्र पहनकर गौर व ईसर की पूजा की। फूलों से पूजा के बाद महिलाओं ने हल्दी लगाई। युवतियां ने गणगौर के गीतों पर जमकर नृत्य किया। महिलाओं ने हल्दी गीत गाए। पिंकी सुथार ने बताया की आज हल्दी की रस्म अदा की गई है। इस दौरान महिलाओं ने हाथों पर हल्दी लगाई। इसके बाद कल मेंहदी की रस्म अदा की जाएगी। पूजा पारीक ने बताया की घर में होने वाले शादी की तरह हर रीति रिवाज निभाए जा रहे हैं।