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ब्रेकिंग न्यूज: वीडियो: हक के लिए न्यायिक कर्मचारी हड़ताल पर, कोर्ट में कामकाज ठप

locationनई दिल्लीPublished: Feb 15, 2016 01:44:00 pm

Submitted by:

shailendra tiwari

अदालतों में सोमवार को न तो न्यायिक अधिकारियों की घंटी सुनने व पक्षकारों को आवाज देने वाले चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी मौजूद थे और न ही आर्डरशीट लिखने वाले रीडर। आदेश टाइप करने वाले स्टेनों से लेकर कार्यालय में काम करने वाले लिपिक तक सभी अवकाश पर रहे।

अदालतों में सोमवार को न तो न्यायिक अधिकारियों की घंटी सुनने व पक्षकारों को आवाज देने वाले चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी मौजूद थे और न ही आर्डरशीट लिखने वाले रीडर। आदेश टाइप करने वाले स्टेनों से लेकर कार्यालय में काम करने वाले लिपिक तक सभी अवकाश पर रहे। इससे अदालतों का कामकाज पूरी तरह से ठप रहा। इधर, स्टाम्प वेंडर भी अपनी मांगों के समर्थन में हड़ताल पर रहे।





सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद राज्य सरकार द्वारा शेट्टी पे-कमीशन का लाभ नहीं दिए जाने से राजस्थान न्यायिक कर्मचारी संघ के आह्वान पर सभी कर्मचारी पूरे प्रदेश में सामूहिक अवकाश पर रहे।




कोटा जजशिप में भी करीब 250 कर्मचारी निर्धारित समय पर सुबह अदालत तो पहुंचे लेकिन कामकाज नहीं किया। चतुर्थ श्रेणी कर्मचारयों ने अदालतों के ताले खोले लेकिन कार्यालयों के बंद रहे। न्यायिक कर्मचारी संघ के महासचिव पंकज गौड़ व उपाध्यक्ष शिवाशिव दाधीच और संघर्ष समिति के सहसंयोजक नरेन्द्र राय जैन के नेतृत्व में कर्मचारी नकल सेक्शन के बाहर एकत्र हुए।



यहां से पहले सभी ने अदालत परिसर का चक्कर लगाया। इसके बाद कलक्ट्री परिसर स्थित कुछ अदालतों व पारिवारिक न्यायालय में कामकाज होने की सूचना पर सभी कर्मचारी कलक्ट्री चौराहे से गांवड़ी स्थित पारिवारिक न्यायालय पहुंचे। वहां से सभी कर्मचारी सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए कलक्ट्रेट के बाहर धरने पर बैठ गए।





कर्मचारियों ने बताया कि लम्बे समय बाद इस तरह की हड़ताल की गई है। इससे पहले गहलोत सरकार में 40 दिन से अधिक की हड़ताल की गई थी। पंकज गौड़ ने बताया कि सरकार ने मांग नहीं मानी तो हड़ताल अनिश्चितकाल तक जारी रहेगी।

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