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CRPF वैन पर हमले से नाराज गंभीर का बयान, अब पत्थरबाजों से बातचीत का समय नहीं

locationनई दिल्लीPublished: Jun 02, 2018 03:57:28 pm

Submitted by:

Siddharth Rai

एक तरफ राज्य पुलिस ने सीआरपीएफ के खिलाफ 2 एफआईआर दर्ज कर ली हैं तो वहीं दूसरी तरफ क्रिकेटर गौतम गंभीर ने इस मामले को लेकर कड़ी नाराजगी जाहिर की है।

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Gautam Gambhir

नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर के नौहट्टा में पत्थरबाजों के द्वारा सीआरपीएफ की वैन पर किए गए हमले के बाद ये मामला गर्माता ही जा रहा है। जहां एक तरफ राज्य पुलिस ने सीआरपीएफ के खिलाफ 2 एफआईआर दर्ज कर ली हैं तो वहीं दूसरी तरफ क्रिकेटर गौतम गंभीर ने इस मामले को लेकर कड़ी नाराजगी जाहिर की है।
नेताओं के परिवार को भेजो कश्मीर- गंभीर
गंभीर ने ट्वीट कर कहा है, ”इसका मेरे पास एक समाधान है। सरकार को ये अनिवार्य कर देना चाहिए के हर राजनेता को कम से कम एक हफ्ते तक अपने पूरे परिवार के साथ कश्मीर में उसी जगह पर रहना चाहिए, जहां ये घटना घटी है, वो भी बिना किसी सिक्योरिटी के। उसके बाद ही उस राजनेता को 2019 का चुनाव लड़ने दिया जाएगा। इन लोगो को समझाने का इससे बेहतर और कोई तरीका नहीं है।”
https://twitter.com/GautamGambhir/status/1002810807808229377?ref_src=twsrc%5Etfw

एफआईआर पर गंभीर ने जताई नाराजगी
36 साल के इस खिलाड़ी ने पत्थरबाजों के द्वारा सीआरपीएफ वैन पर किए गए हमले को लेकर बेहत सख्त तेवर दिखाए हैं। गंभीर की नाराजगी उस वक्त सामने आई है, जब ये खबर सामने आई कि इस मामले में पुलिस ने सीआरपीएफ पर 2 एफआईआर दर्ज कर ली है।

क्या है मामला
आपको बता दें कि नौहट्टा में शुक्रवार को विरोध प्रदर्शन के दौरान कैसर अहमद नाम के एक प्रदर्शनकारी की मौत हो गई थी। ये प्रदर्शनकारी सीआरपीएफ वैन पर हमले के दौरान गाड़ी के नीचे आ गया था। एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार प्रदर्शनकारियों के एक झुण्ड ने सीआरपीएफ के वाहन पर पत्थरों से हमला किया था, जिसके बाद ये हादसा हुआ। इस हादसे को लेकर भारतीय दिग्गज बल्लेलबाज गौतम गंभीर ने गुस्सा जाहिर किया है।

‘पत्थरबाजों के साथ बातचीत का समय नहीं’
इसके अलावा एक अन्य ट्वीट में भी गंभीर ने कहा है कि अब भारत को ये सोच त्याग देनी चाहिए कि इनके (पत्थरबाज) साथ कमरे में बैठकर बातचीत की जा सकती है, अगर देश के नेता सुरक्षाबलों पर भरोसा जताते हैं तो सीआरपीएफ आपको परिणाम दिखा देगी।

https://twitter.com/crpfindia?ref_src=twsrc%5Etfw

इससे पहले भी सैन्य मदद के लिए आगे आए हैं गंभीर
आपको बता दें गंभीर अक्सर सामाजिक मुद्दों को लेकर अपनी राय बेबाकी से सभी के सामने रखते हैं। शहीद सैनिकों के बच्चों के लिए गौतम गंभीर अबतक काफी काम कर चुके हैं। अब एक बार फिर उन्होंने शहीद के बच्चे की पढ़ाई की जिम्मेदारी ली है। इससे पहले गौतम गंभीर जम्मू कश्मीर में आतंकी हमले में शहीद हुए अब्दुल राशिद की बेटी जोहरा की मदद कर चुके हैं। गौतम गंभीर फाउंडेशन की शुरुआत 2014 में हुई थी। यह एक नॉन प्रोफिटेबल संगठन है। सैन्य बलों के शहीदों के परिवारों की मदद के लिए यह संगठन काम करता है। गंभीर अपनी नैतिक जिम्मेदारी को समझते हुए अक्सर मुद्दे उठाते रहते हैं। वह ना सिर्फ टिप्पणी करते हैं बल्कि मदद के लिए सबसे पहले आगे भी आते हैं।

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