शिकायत
मिलने के साथ ही आईसीसी ने उसे भ्रष्टाचार निरोधी इकाई को भेज दिया था। गौरतलब है
कि ललित मोदी ने चेन्नई सुपरकिंग्स के लिए खेलने वाले दो खिलाडियों, सुरेश रैना,
रवींद्र जडेजा तथा ड्वेन ब्रावो पर एक बिल्डर से रिश्वत लेने का आरोप लगाया। ललित
मोदी ने शनिवार को एक पत्र ट्वीट कर दावा किया था कि उन्होंने जून 2013 में आईसीसी
के सीईओ डेव रिचड्र्सन को पत्र लिखकर दो प्रमुख भारतीय क्रिकेटरों और वेस्ट इंडीज
के एक क्रिकेटर के एक बिजनेसमैन से रिश्वत लेने के बारे में कुछ जानकारी दी थी।
आईसीसी ने रविवार को इस ईमेल के बारे में अपनी वेबसाइट पर एक बयान जारी कर स्पष्टीकरण दिया कि उसने उस समय निर्धारित प्रक्रिया के तहत ही अपना काम किया था। उसे जून 2013 में मोदी का गोपनीय ईमेल मिला था और उसे उस समय भ्रष्टाचार रोधी एवं सुरक्षा इकाई (एसीएसयू) को सौंप दिया गया था। एसीएसयू ने निर्धारित प्रक्रिया के तहत इस सूचना पर काम किया और इसे भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) की भ्रष्टाचार रोधी इकाई के साथ साझा किया था। आईसीसी ने इस मामले पर अपनी बेवसाइट पर और कुछ कहने से इंकार कर दिया।
इससे पहलेएन श्रीनिवासन के खिलाफ लड़ाई लड़ने वाले क्रिकेट एसोसिएशन आफ बिहार के सचिव आदित्य वर्मा ने आईसीसी को एक पत्र लिखकर मांग की कि इन तीन अन्तर्राष्ट्रीय खिलाडियों पर लगे आरोपों पर वह स्पष्टीकरण दें। वर्मा ने डेव रिचर्डसन को भेजे पत्र में कहा कि आईसीसी की विश्वसनीयता को बचाने के लिए अन्तरराष्ट्रीय संस्था को इस मामले में स्पष्टीकरण देना चाहिए।
आईसीसी ने रविवार को इस ईमेल के बारे में अपनी वेबसाइट पर एक बयान जारी कर स्पष्टीकरण दिया कि उसने उस समय निर्धारित प्रक्रिया के तहत ही अपना काम किया था। उसे जून 2013 में मोदी का गोपनीय ईमेल मिला था और उसे उस समय भ्रष्टाचार रोधी एवं सुरक्षा इकाई (एसीएसयू) को सौंप दिया गया था। एसीएसयू ने निर्धारित प्रक्रिया के तहत इस सूचना पर काम किया और इसे भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) की भ्रष्टाचार रोधी इकाई के साथ साझा किया था। आईसीसी ने इस मामले पर अपनी बेवसाइट पर और कुछ कहने से इंकार कर दिया।
इससे पहलेएन श्रीनिवासन के खिलाफ लड़ाई लड़ने वाले क्रिकेट एसोसिएशन आफ बिहार के सचिव आदित्य वर्मा ने आईसीसी को एक पत्र लिखकर मांग की कि इन तीन अन्तर्राष्ट्रीय खिलाडियों पर लगे आरोपों पर वह स्पष्टीकरण दें। वर्मा ने डेव रिचर्डसन को भेजे पत्र में कहा कि आईसीसी की विश्वसनीयता को बचाने के लिए अन्तरराष्ट्रीय संस्था को इस मामले में स्पष्टीकरण देना चाहिए।