इंदौर। जूम डेवलपर्स पर ईडी ने अब पूरी तरह शिकंजा कस दिया हैं। ईडी कंपनी की अमेरिका के कैलिफोर्निया में स्थिति 1000 करोड़ की जमीन मनी लॉन्ड्रिंग के केस में अटैच की है। देश के इतिहास में ईडी ने पहली बार अमेरिका में कोई प्रॉपर्टी अटैच की है और वह भी 1280 एकड़ जमीन। कंपनी के मालिक यह जमीन फर्जी कंपनियों की कंसलटेंसी फिश के नाम पर फंड भेजकर अमेरिका में ने 2007 में खरीदी थी। इस जमीन का पता न तो आयकर विभाग को चला न ही आबीआई से इसके लिए अनुमति ली गई। यहीं नहीं इस प्रापर्टी को कंपनी ने अपनी बैलेंसशीट में भी नहीं दिखाया। लेकिन ईडी ने जांच में यह प्रापर्टी ढूंढ निकाली और तय समय में अटैच भी कर दी। 2200 करोड़ की धोखाधड़ी डेढ़ साल पहले ईडी ने जूम डवलपर्स प्रायवेट लिमिटेड़ कंपनी के खिलाफ विदेशों में फर्जी प्रोजेक्ट दिखाकर 26 बैकों के साथ 2200 करोड़ की धोखाधड़ी करने पर मनी लॉन्ड्रिंग के तहत केस दर्ज किया था। कुछ दिन पहले ईडी ने इस घोटाले में जूम के कंपनी सेकेट्री शरद काबरा को गिरफ्तार किया था और जांच तेज कर दी थी। जांच में ईडी को कई महत्वपूर्ण दस्तावेज मिले। प्रॉपर्टी का बाजार मूल्य 1000 करोड़ रुपए दस्तावेजों के आधार पर ईडी ने यह पता लगा लिया कि कंपनी के मालिक विजय चौधरी ने फर्जी कंपनियों के लिए कंसलटेंसी फिश के नाम पर अमेरिका में 2007 में पैसा भेजा और उससे कैलिफोर्निया के शहर सालिडेड और काउंटी मोंटेरी में 1280 एकड़ जमीन खरीद ली थी। इस जमीन को भी कुछ दिन पहले उसने एक और फर्जी पेपर कंपनी के नाम मुक्ति में कर लिया। इसके सबूत भी ईडी के हाथ लग गए। इसके बाद कोर्ट से अनुमति और एंबेसी की मदद से ईडी ने ये प्रापर्टी अटैच कर दी। बताते हैं कि अमेरिका और इंडिया के बीच टीटी के चलते यह अटैचमेंट संभव हो सका हैं। यह जमीन चौधरी ने 7 मिलियन डॉलर में खरीदी थी जिसका वर्तमान बाजार मूल्य 1000 करोड़ रुपए हैं। आस्ट्रेलिया में एक बार हुआ अटैचमेंट सूत्रों के अनुसार ईडी के इतिहास में पहली बार अमेरिका में प्रापर्टी अटैचमेंट की कोई कार्रवाई हुई है। देश के बाहर इसके पहले मुंबई ईडी ने आस्ट्रेलिया में एक प्रापर्टी अटैच की थी। लेकिन इतनी बड़ी प्रापर्टी देश के बाहर पहली बार अटैच हुई हैं।