असम: गोलीबारी में एक बच्चे की मौत, शक के घेरे में उग्रवादी
Published: Jul 23, 2015 02:37:00 pm
गोलीबारी के दौरान एक गोली 10 साल के बच्चे बिशेन
तमंग के गाल पर और 8 साल के मरूफ अहमद के सिर में लगी
हफलॉन्ग। असम के डिमा हसाओ जिले में कुछ लोगों ने गोलीबारी की। इस हमले में एक बच्चे की मौत हो गई और एक बच्चा घायल हो गया। पुलिस का शक है कि हमलावर उग्रवादी ग्रुप के सदस्य हैं।
दरअसल असम कोयला खदान क्षेत्र में एक वीडियो हॉल में तीन लोग मंगलवार को रात 8 बजे घुसे। ये लोग हॉल के मालिक जियाउर रहमान की तलाश में थे। जब उन्हें हॉल का मालिक नहीं मिला तो उन्होंने एक छोटे हथियार से फायरिंग शुरू कर दी। उस वक्त हॉल में 30 लोग मौजूद थे।
गोलीबारी के दौरान एक गोली 10 साल के बच्चे बिशेन तमंग के गाल पर और 8 साल के मरूफ अहमद के सिर में लगी। सिर पर गोली लगने से मरूफ की मौके पर ही मौत हो गई। वहीं बिशेन को मेघालय में जोवाई सिविल हॉस्पिटल में भर्ती करवाया गया। मरूफ के शव को हफलॉन्ग सिविल हॉस्पिटल में पोस्ट मार्टम के लिए भेज दिया गया है। मरूफ और बिशेन दोनों के पिता इसी कोयला खदान में दैनिक मजदूरी करते हैं।
एसपी जी.वी. शिवप्रसाद का कहना है कि हमें इस केस में उग्रवादियों पर शव है। जांच चल रही है, हमें उम्मीद है कि 48 घंटे में हम उन्हें गिरफ्तार कर लेंगे। उग्रवादियों द्वारा बार-बार बच्चों को निशाना बनाने पर बाल अधिकार कार्यकर्ताओं और संगठनों में जबरदस्त रोष है।
गौरतलब है कि पिछले साल दिसंबर में कोकराझार और सोनितपुर जिले में उग्रवादी संगठन एनडीएफबी (सॉन्गबिजित) ने 66 आदिवासियों समेत 18 बच्चों को गोलियों से भून दिया था। इसी तरह संगठन ने चिरांग जिले में 16 साल की पिया बसुमटरी को मुखबिर होने के शक में मार डाला था।