मिटी अफसर कर्मचारी की दूरी, प्रस्तुतियों पर झूमे सभी
तरंग: पुलिस उत्सव मेला सम्पन्न
मिटी अफसर कर्मचारी की दूरी, प्रस्तुतियों पर झूमे सभी
मुंगेली. बिना किसी बाधा के शांतिपूर्ण मतदान सम्पन्न होने के बाद मुंगेली एसपी पारुल माथुर की पहल पर चुनावी तनाव व थकान मिटाने के लिए पुलिस अफसर, जवान एवं उनके परिवार के लिए रंगारंग कार्यक्रम पुलिस उत्सव ‘तरंगÓ का आयोजन सेंट जेवियर शाला प्रांगण में किया गया। इस दौरान पुलिस विभाग के कार्यों से संबंधित अनेक स्टॉल लगाये गये थे।
पुलिस उत्सव में पुलिस अधिकारियों व उनके परिवार के सदस्यों के द्वारा एक से बढ़कर एक बेहतरीन कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी गई। कार्यक्रम में बिलासपुर रेंज के आईजी ने पुराने जमाने का लोकप्रिय गीत ‘आने वाला कल जाने वाला है, हो सके तो इसमें जिंदगी बीता दो पल जो ये जाने वाला हैÓ को सुनाकर पूरे महफिल में समां बांध दिया। एसपी पारुल माथुर ने ‘अजीब दास्तां है ये, कहां शुरू कहां खतम ये मंजिलें है कौन सी, न वो समझ सके न हम..Ó सुनाकर खूब तालियां बटोरी। इसके बाद डीएसपी मोनिका सिंह परिहार के राजस्थानी गीत-नृत्य को देख उपस्थित लोग झूम उठे। पूरे कार्यक्रम को देखकर यह यकीन करना कठिन हो रहा था कि जो अधिकारी-कर्मचारी इतनी आकर्षक व बेहतरीन सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दे रहे हैं, वे पुलिस की दबंग छवि के अफसर और उनके परिवार के सदस्य है। इस दौरान आईजी प्रदीप गुप्ता ने पुलिस कैलेंडर का विमोचन भी किया। रिटायर्ड डीजीपी एवं एसपी पारुल माथुर के पिता राजीव दीक्षित ने बीते समय को याद करते हुए कहा कि आज मुंगेली जिले में एसपी पारुल माथुर हैं और आईजी प्रदीप गुप्ता हैं। एक वह भी समय था जब मैं यहां का आईजी था और प्रदीप गुप्ता एसपी थे। उन्होंने यह भी जानकारी दी कि छत्तीसगढ़ पुलिस को ‘परित्राणाय साधुनामÓ वाक्य मेरे द्वारा ही सुझाया गया था।