एक रिपोर्ट की मानें तो कोलकाता में ज्यादा कीमत देकर 500 और 1,000 रुपये के पुराने नोट खरीदे जा रहे हैं।
कोलकाता. नोटबंदी के बाद अपने तरह का एक हैरान करने वाला मामला समाने आया है। टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट की मानें तो कोलकाता में ज्यादा कीमत देकर 500 और 1,000 रुपये के पुराने नोट खरीदे जा रहे हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक़ इस खेल के पीछे कोलकाता की छद्म तेल कंपनियां हैं। ग्राहक भी नार बदलने के लिए बैंकों की लाइन में न लगकर इस रास्ते को चुन रहे हैं।
कहां और कैसे बदले जा रहे हैं नोट
रिपोर्ट के मुताबिक़ कोलकाता के ट्रेडिंग हब बड़ा बाजार में पुराने नोटों ज्यादा पैसे पर खरीदने का मामला सामने आ रहा है। यहां 500 के पुराने नोट के बदले 550 और 1000 के पुराने नोट 1100 रुपये दिए जा रहे हैं। टाइम्स ऑफ इंडिया का दावा है कि उसने बड़ा बाजार के दुकानों में ऐसे मामले खुद देखें। रिपोर्ट के मुताबिक़ एक महीने पहले ऐसा हो रहा अथा लेकिन तब पुराने नोटों को कम कीमत में खरीदा जा रहा था।
बैलेंस शीट में ज्यादा कैश इन हैण्ड दिखाया, अब खरीदना पद रहा है नोट
कुछ जानकारों ने टीओआई को इस बारे में बताया कि कुछ छद्म कंपनियों की ‘करामात’ है। कंपनियों को बैलेंस शीट में ‘कैश इन हैंड’ बढ़ाने की जरूरत होती है जिसमें बहुत ज्यादा कागजी कार्यवाही होती है। इस बारे में अकाउंटेंट्स ने जानकारी दी कि 31 दिसंबर को खत्म हो रही तिमाही से पहले कागजों पर लेनदेन को सही ठहराने के लिए कंपनियां यह तिकड़म कर रही हैं।
आख़िरीै तिमाही में सिर्फ तीन दिन ही बाकी
बैलेंस शीट में ‘कैश इन हैंड’ का मतलब है कि कंपनी के पास नोटों या सिक्कों के रूप में कितने पैसे हैं। नोटबंदी के बाद तीसरी तिमाही के खत्म होने में अब सिर्फ 4 दिन बाकी हैं। कंपनियों के पास ‘कैश इन हैंड’ दिखाने के लिए नकदी बहुत कम है। आयकर अफसरों को पता चला है कि कंपनियों की बैलेंश शीट में बड़ी मात्रा में ‘कैश इन हैंड’ दिखाया गया है हालांकि हकीकत में उनके पास उतनी नकदी नहीं है। चूंकि कंपनियों को बैलेंस शीट सही करने के लिए पुराने नोटों की जरूरत है, इसलिए वे ज्यादा कीमत पर इसेखारीद रहे हैं।