पुलिस अधिकारी ने की शिकायत
शम्सबाद की डेप्युटी पुलिस कमिश्नर पी वी पद्मजा ने कहा कि सिनेमा हॉल मैनेजमेंट की तरफ से शिकायत करने पर इस मामले को दर्ज किया गया। तीनों छात्रों के ऊपर राष्ट्रीय प्रतीकों के अपमान ऐक्ट के धारा 2 के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि कि एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने तीनों छात्रों को राष्ट्रगान के दौरान बैठे हुए देखा था। उन्होंने हमारे पास राजेंद्रनगर पुलिस स्टेशन में इसकी शिकायत दर्ज की। साथ ही यह भी कहा कि वह उनका नाम न उजागर करें। उनकी इस शिकायत के बाद पुलिस वहां पहुंची और तीनों छात्रों को हिरासत में लिया गया। तीनों से पुलिस स्टेशन में काफी देर तक पूछताछ की गई और इनके टोली चौक स्थित घर की भी तलाशी ली गई। तीनों छात्र इंजिनियरिंग के स्टूडेंट हैं।
शम्सबाद की डेप्युटी पुलिस कमिश्नर पी वी पद्मजा ने कहा कि सिनेमा हॉल मैनेजमेंट की तरफ से शिकायत करने पर इस मामले को दर्ज किया गया। तीनों छात्रों के ऊपर राष्ट्रीय प्रतीकों के अपमान ऐक्ट के धारा 2 के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि कि एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने तीनों छात्रों को राष्ट्रगान के दौरान बैठे हुए देखा था। उन्होंने हमारे पास राजेंद्रनगर पुलिस स्टेशन में इसकी शिकायत दर्ज की। साथ ही यह भी कहा कि वह उनका नाम न उजागर करें। उनकी इस शिकायत के बाद पुलिस वहां पहुंची और तीनों छात्रों को हिरासत में लिया गया। तीनों से पुलिस स्टेशन में काफी देर तक पूछताछ की गई और इनके टोली चौक स्थित घर की भी तलाशी ली गई। तीनों छात्र इंजिनियरिंग के स्टूडेंट हैं।
सुप्रीम कोर्ट दे चुका है आदेश
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने राष्ट्रीय गान यानी ‘जन गण मन’ से जुड़े एक अहम आदेश में पिछले साल ही यह कहा था कि देशभर के सभी सिनेमाघरों में फिल्म शुरू होने से पहले राष्ट्रीय गान ज़रूर बजेगा। सुप्रीम कोर्ट ने यह भी कहा कि राष्ट्रीय गान बजते समय सिनेमाहॉल के पर्दे पर राष्ट्रीय ध्वज दिखाया जाना भी अनिवार्य होगा। साथ ही सिनेमाघर में मौजूद सभी लोगों को राष्ट्रीय गान के सम्मान में खड़ा होना होगा। सुप्रीम कोर्ट मे तर्क दिया था कि राष्ट्रीय गान राष्ट्रीय पहचान, राष्ट्रीय एकता और संवैधानिक देशभक्ति से जुड़ा है। साथ ही कोर्ट ने आदेश दिया था कि किसी भी व्यावसायिक हित में राष्ट्रीय गान का इस्तेमाल नहीं किया होगा। इसके अलावा किसी भी तरह की गतिविधि में ड्रामा क्रिएट करने के लिए भी राष्ट्रीय गान का इस्तेमाल नहीं होगा तथा राष्ट्रीय गान को वैरायटी सॉन्ग के तौर पर भी नहीं गाया जाएगा।
बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने राष्ट्रीय गान यानी ‘जन गण मन’ से जुड़े एक अहम आदेश में पिछले साल ही यह कहा था कि देशभर के सभी सिनेमाघरों में फिल्म शुरू होने से पहले राष्ट्रीय गान ज़रूर बजेगा। सुप्रीम कोर्ट ने यह भी कहा कि राष्ट्रीय गान बजते समय सिनेमाहॉल के पर्दे पर राष्ट्रीय ध्वज दिखाया जाना भी अनिवार्य होगा। साथ ही सिनेमाघर में मौजूद सभी लोगों को राष्ट्रीय गान के सम्मान में खड़ा होना होगा। सुप्रीम कोर्ट मे तर्क दिया था कि राष्ट्रीय गान राष्ट्रीय पहचान, राष्ट्रीय एकता और संवैधानिक देशभक्ति से जुड़ा है। साथ ही कोर्ट ने आदेश दिया था कि किसी भी व्यावसायिक हित में राष्ट्रीय गान का इस्तेमाल नहीं किया होगा। इसके अलावा किसी भी तरह की गतिविधि में ड्रामा क्रिएट करने के लिए भी राष्ट्रीय गान का इस्तेमाल नहीं होगा तथा राष्ट्रीय गान को वैरायटी सॉन्ग के तौर पर भी नहीं गाया जाएगा।